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बीडीए के बुलडोजर से हिले गैर पंजीकृत प्रॉपर्टी डीलर...28 बीघे की तीन अवैध कॉलोनी जमींदोज

बीडीए के बुलडोजर से हिले गैर पंजीकृत प्रॉपर्टी डीलर...28 बीघे की तीन अवैध कॉलोनी जमींदोज। बदायूं रोड पर रामकुमार और ओमप्रकाश ने 28 बीघे एरिया में बनाई थी तीन अवैध कॉलोनी

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Sudhakar Shukla
बदायूं रोड पर रामकुमार और ओमप्रकाश की अवैध कालोनियों पर चला बीडीए का बुलडोजर

बदायूं रोड पर रामकुमार और ओमप्रकाश की अवैध कालोनियों पर चला बीडीए का बुलडोजर

वाईबीएन संवाददाता बरेली।

 प्राधिकरण की प्रवर्तन टीम का बुलडोजर अवैध कालोनियों पर एक बार फिर गरजा। इसमें 28 बीघे की तीन अनधिकृत कालोनियां जमींदोज हो गई। बीते कई महीने से चलने वाली बुलडोजर कार्रवाई ने गैर कानूनी प्रॉपर्टी डीलरों को हिलाकर रख दिया है। राम कुमार ने ग्राम करेली बदायूॅ रोड थाना सुभाषनगर में लगभग 10 बीघा क्षेत्रफल में बिना विकास प्राधिकरण की स्वीकृति के भूखण्डों का चिन्हांकन, सड़क, नाली एवं बाउन्ड्रीवाल निर्माण का कार्य कर लिया था। यहां अवैध कालोनी का निर्माण कराया जा रहा था। इसी तरह ओम प्रकाश वर्मा और उनके पार्टनर ग्राम करेली बदायूॅ रोड थाना सुभाषनगर में 08 बीघा क्षेत्रफल में ओम प्रकाश थाना कैन्ट ग्राम बुखारा में लगभग 10 बीघा क्षेत्रफल में बिना विकास प्राधिकरण की स्वीकृति के भूखण्डों का चिन्हांकन, सड़क, नाली एवं बाउन्ड्रीवाल का निर्माण करा रहे थे। तीनों अवैध कालोनी के विरूद्ध उ0प्र0 नगर योजना एवं विकास अधिनियम-1973 की धाराओं के अन्तर्गत कार्यवाही करते हुए बुलडोजर से ध्वस्त कर दिया गया। प्राधिकरण की इस कार्रवाई से गैर पंजीकृत प्रॉपर्टी डीलर परेशान हो गए। ध्वस्तीकरण अभियान में अजीत कुमार सिंह, विशेष कार्याधिकारी, बरेली विकास प्राधिकरण के नेतृत्व में प्राधिकरण के सहायक अभियन्ता गजेन्द्र पाल शर्मा अवर अभियन्ता सुरेन्द्र द्विवेदी की उपस्थिति में ध्वस्तीकरण की कार्यवाही की गयी।

मकान या प्लॉट खरीदने से पहले प्राधिकरण से मानचित्र की जांच पड़ताल कर लें 

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प्राधिकरण की तरफ से बताया गया कि उ0प्र0 नगर योजना एवं विकास अधिनियम-1973 के प्राविधानों के अन्तर्गत किसी भी व्यक्ति द्वारा निर्माण/प्लाटिंग करने से पूर्व बरेली विकास प्राधिकरण से मानचित्र स्वीकृत कराना अनिवार्य है। बिना मानचित्र स्वीकृत कराये प्लाटिंग करना या भवन निर्माण करना पूरी तरह से अवैध है। मानचित्र बिना स्वीकृत कराये किये विकास या निर्माण का ध्वस्तीकरण प्राधिकरण द्वारा किया जा सकता है। इसके लिए भवन/भूखण्ड के क्रेताओं को सलाह है कि भविष्य में किसी भी परेशानी से बचने के लिए भवन/भूखण्ड क्रय करने से पूर्व उसकी मानचित्र स्वीकृति सम्बन्धी जानकारी प्राधिकरण से अवश्य प्राप्त कर लें। मानचित्र स्वीकृत न होने की स्थिति में खरीदारी से बचें। अन्यथा की दशा में प्राधिकरण द्वारा उ0प्र0 नगर नियोजन एवं विकास अधिनियम-1973 की सुसंगत धाराओं के अन्तर्गत प्रभावी कार्यवाही की जायेगी, जिसका समस्त उत्तरदायित्व निर्माणकर्ताओं का स्वयं का होगा।

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