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बरेली,वाईबीएनसंवाददाता
बरेली। बरेली शहर की पॉश कॉलोनी राजेंद्रनगर आवास विकास में रहने वाले एक परिवार में होली खेलने के दौरान जरा सी बात पर रंग में भंग पड़ गया। शराब के नशे में धुत्त एक युवक ने अपनी भाभी से शरारत क्या कर दी कि बड़े भाई ने अपनी कटार से ताबड़तोड़ बार करके उसकी हत्या कर दी।
यह घटना ठीक होली के दिन शुक्रवार को प्रेमनगर थाना क्षेत्र में हुई। पूरा शहर होली के जश्न में डूबा था। हर तरफ रंगों की बौछार होने के साथ रंग गुलाल उड़ाया जा रहा था। सभी अपने-अपने हिसाब से त्योहार मना रहे थे। राजेंद्रनगर आवास विकास कॉलोनी में रहने वाले 50 वर्षीय हरविंदर सिंह और उनका छो भाई 35 वर्षीय गुरमीत सिंह भी अपने परिवार समेत होली का जश्न मना रहे थे। दोनों भाई एक ही घर में रहते थे। होली खेलने के दौरान दोनों भाई साथ-साथ खा पी रहे थे।
प्रेमनगर थाना क्षेत्र का मामला, कटार से भाई के सीने पर किए कई बार
बताते हैं कि दोपहर को नशे की हालत में हरविंदर सिंह और गुरमीत सिंह अपने घर के सामने होली के गीतों पर साथ-साथ डांस कर रहे थे। इसी दौरान गुरमीत सिंह ने बड़े भाई हरविंदर सिंह से उनकी पत्नी को लेकर कुछ शरारत भरी टिप्पणी कर दी। इस पर दोनों भाइयों के बीच कहासुनी के बाद मारपीट होने लगी। तभी हरविंदर सिंह ने अपनी कटार निकालकर गुरमीत के सीने पर कई बार किए, जिससे उसकी मौके पर मौत हो गई।
संपत्ति विवाद को लेकर भी छानबीन कर रही पुलिस
गुरमीत को खून से लथपथ पड़ा देखा तो परिवार में कोहराम मच गया। कुछ देर में आसपास के लोग जमा हो गए। सूचना मिलते ही एसपी सीटी मानुष पारीक, सीओ सिटी पंकज श्रीवास्तव और प्रेमनगर प्रभारी निरीक्षण मौके पर जा पहुंचे और घटना को लेकर छानबीन की। आसपास के लोगों से भी पूछताछ की गई। पुलिस इस बात को लेकर भी छानबीन कर रही है कि दोनों भाइयों के बीच संपत्ति को लेकर तो कोई विवाद तो नहीं था।
घटना स्थल पर पहुंचे एसपी सिटी-सीओ
एसपी सिटी मानुष पारीक ने बताया कि होली खेलने के दौरान दो भाइयों के बीच झगड़ा हुआ था। दोनों भाई एक ही मकान में रहते हैं। नशे की हालत में उनके बीच कुछ कहासुनी हो गई। इसी बीच एक भाई ने कटार से दूसरे पर हमला कर दिया। आरोपी को पुलिस ने पकड़ लिया है, जिससे पूछताछ की जा रही है।
हवालात में पूरी रात बेचैन रहा हरविंदर
नशे की हालत में भाई की हत्या करने का आरोपी हरविंदर सिंह अपने किए पर बहुत पछता रहा है। नशा उतरने के बाद वह बार-बार यही कह रहा कि यह मैंने क्या कर दिया। वह हवालात में पूरी रात बेचैन रहा। कभी जमीन पर बैठता, कुछ देर के लिए लेट जाता, और फिर उठकर इधर-उधर टहलने लगता।