बिहार, वाईबीएन नेटवर्क।
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 की तैयारी के बीच कांग्रेस के दो प्रमुख नेताओं, कन्हैया कुमार और प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह, के बीच तनाव की खबरें सामने आ रही हैं। कन्हैया कुमार की आगामी 'नौकरी दो, पलायन रोको' पदयात्रा को लेकर पार्टी में मतभेद उभर रहे हैं, जिससे कांग्रेस के भीतर धड़ेबंदी की अटकलें तेज हो गई हैं।
पार्टी के भीतर उभरते मतभेद
कांग्रेस नेता कन्हैया कुमार 16 मार्च से 'नौकरी दो, पलायन रोको' पदयात्रा शुरू करने जा रहे हैं, जिसकी शुरुआत चंपारण से होगी और समापन पटना में होगा। इस यात्रा का उद्देश्य राज्य में रोजगार और पलायन के मुद्दों पर सरकार को घेरना है। हालांकि, इस पहल को लेकर प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह और कन्हैया कुमार के बीच मतभेद की खबरें सामने आई हैं। अखिलेश सिंह ने इन अटकलों को खारिज करते हुए कहा है कि उनकी कन्हैया कुमार से कोई नाराजगी नहीं है।
बैठक स्थगित होने से बढ़ी चर्चाएं
12 मार्च को राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खरगे की मौजूदगी में बिहार कांग्रेस की एक महत्वपूर्ण बैठक होनी थी, जो स्थगित कर दी गई। इससे पार्टी के भीतर मतभेद की अटकलें और तेज हो गईं। अखिलेश सिंह ने स्पष्ट किया कि बैठक होली के कारण टाली गई है और इसे बाद में आयोजित किया जाएगा।
भूमिहार समुदाय के दो नेताओं के बीच खींचतान
कांग्रेस के भीतर कन्हैया कुमार और अखिलेश प्रसाद सिंह, दोनों भूमिहार समुदाय से आते हैं, के बीच उभरते मतभेद पार्टी के लिए चुनौती बन सकते हैं। कन्हैया कुमार की बढ़ती सक्रियता से अखिलेश सिंह समर्थकों में असंतोष की खबरें हैं, जिससे पार्टी के भीतर धड़ेबंदी की स्थिति बन रही है।
राजद-कांग्रेस गठबंधन पर असर की संभावना
कन्हैया कुमार की सक्रियता से राजद और कांग्रेस के गठबंधन पर भी असर पड़ सकता है। अखिलेश सिंह का मानना है कि कन्हैया की बढ़ती सक्रियता से राजद के साथ संबंध प्रभावित हो सकते हैं, जिससे गठबंधन की राजनीति पर असर पड़ सकता है।