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share market | today share market news : सोमवार को ग्लोबल मार्केट खासतौर से एशियाई शेयर बाजारों में गिरावट के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपनी विवादास्पद टैरिफ नीतियों का बचाव किया। उन्होंने कहा कि दुनिया के नेता 'रेसिप्रोकल टैरिफ' पर 'समझौता करने के लिए बेताब हैं।' सोमवार को एशियाई बाजारों में दिन की शुरुआत भारी गिरावट के साथ हुई। हालांकि ट्रंप ने आशंकाओं को कम करने की कोशिश की और सुझाव दिया कि उनके टैरिफ के कारण बाजार को जो परेशानी हुई, वह दीर्घकालिक व्यापार असंतुलन को ठीक करने के लिए एक जरूरी 'दवा' है। बाजार में उतार-चढ़ाव का जिक्र करते हुए ट्रंप ने कहा, "कभी-कभी आपको किसी चीज को ठीक करने के लिए दवा लेनी पड़ती है।"
दोपहर करीब 1 बजकर 20 मिनट : सेंसेक्स 3,350 अंक लुढ़का
ट्रंप टैरिफ के चलते ग्लोबल मार्केट में छाए तनाव और ट्रेड वॉर की आशंका की वजह से भारतीय शेयर बाजार में आज यानी 7 अप्रैल को भारी गिरावट देखने को मिल रही है। सेंसेक्स शुरुआती कारोबार में 3, 939.68 अंक की भारी गिरावट के साथ 71,425.01 अंक पर, निफ्टी 1,160.8 अंक फिसलकर 21,743.65 अंक पर आ गया था। यह जून की शुरुआत के बाद से शेयर बाजार में आई अब तक की सबसे बड़ी गिरावट है। वहीं, दोपहर करीब 1 बजकर 20 मिनट पर शेयर बाजार में भारी गिरावट देखने को मिली। सेंसेक्स 3,350 अंक गिरकर 72,014 पर आ गया, जबकि निफ्टी भी 1,075 अंक टूटकर 21,828 पर ट्रेड कर रहा था। इस बिकवाली के चलते BSE पर लिस्टेड सभी कंपनियों का कुल मार्केट कैपिटलाइजेशन करीब 20.16 लाख करोड़ रुपये घट गया है और अब ये 383.95 लाख करोड़ रुपये रह गया है।
लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप करीब 20.16 लाख करोड़ रुपये घटा
इस बिकवाली के चलते BSE पर लिस्टेड सभी कंपनियों का कुल मार्केट कैपिटलाइजेशन करीब 20.16 लाख करोड़ रुपये घट गया है और अब ये 383.95 लाख करोड़ रुपये रह गया है। रविवार रात वॉल स्ट्रीट फ्यूचर्स में 4% तक की गिरावट दर्ज की गई थी और एशिया-पैसिफिक मार्केट्स में भी 4-6% की बड़ी गिरावट आई थी। अमेरिका और बाकी दुनिया के बीच टैरिफ वॉर को लेकर बढ़ती चिंता का असर अब ग्लोबल इक्विटी मार्केट्स पर साफ दिख रहा है।
क्या हैं गिरावट के कारण ?
1. वैश्विक बाजारों में खलबली
अमेरिकी फेडरल रिजर्व (Fed) द्वारा ब्याज दरों में वृद्धि की आशंका के चलते विदेशी निवेशकों (FIIs) ने भारतीय बाजारों से पैसा निकालना शुरू कर दिया है। इसके अलावा, चीन की अर्थव्यवस्था में सुस्ती और यूरोप में मंदी के संकेतों ने भी बाजार को प्रभावित किया है।
2. घरेलू आर्थिक चुनौतियां
भारत में महंगाई (Inflation) अभी भी RBI के सहनशील स्तर (6%) से ऊपर बनी हुई है। इसके साथ ही, औद्योगिक उत्पादन (IIP) और खुदरा बिक्री (Retail Sales) के आँकड़े कमजोर रहे हैं, जिससे कंपनियों के मुनाफे पर दबाव बना हुआ है।
3. टाटा और रिलायंस जैसे बड़े स्टॉक्स में भारी गिरावट
आज के कारोबार में टाटा ग्रुप और रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयरों में भारी बिकवाली देखी गई।
- टाटा मोटर्स 8% गिरकर ₹1200 के स्तर पर आ गया।
- टाटा स्टील 7.5% की गिरावट के साथ ₹135 पर पहुँचा।
- रिलायंस इंडस्ट्रीज 5% लुढ़ककर ₹2800 के नीचे आ गया।
विश्लेषकों का मानना है कि तेल की कीमतों में उतार-चढ़ाव और रिफाइनिंग मार्जिन में कमी के कारण रिलायंस के शेयर प्रभावित हुए हैं।
निवेशकों पर क्या असर पड़ा ?
आज की गिरावट के साथ ही, शेयर बाजार में इस साल की कुल गिरावट 15% तक पहुँच गई है। छोटे निवेशकों (Retail Investors) के पोर्टफोलियो में भारी नुकसान हुआ है। म्यूचुअल फंड्स और SIP में निवेश करने वालों को भी झटका लगा है।
क्या आगे और गिरावट आ सकती है ?
मार्केट एक्सपर्ट्स का मानना है कि अगर वैश्विक हालात सुधरते हैं और RBI मौद्रिक नीति में राहत देता है, तो बाजार स्थिर हो सकता है। हालाँकि, अगर FIIs की बिकवाली जारी रही और डॉलर के मुकाबले रुपया कमजोर होता रहा, तो बाजार में और गिरावट देखने को मिल सकती है।
निवेशकों के लिए सलाह
पैनिक सेलिंग से बचें: अचानक गिरावट में शेयर बेचने से बचें।
लॉन्ग-टर्म फोकस करें: अच्छे फंडामेंटल वाले स्टॉक्स में निवेश जारी रखें।
DCA (Dollar Cost Averaging) अपनाए: SIP के जरिए निवेश करते रहें।
आज की गिरावट ने एक बार फिर याद दिला दिया है कि शेयर बाजार जोखिमों से भरा है। हालाँकि, इतिहास गवाह है कि हर मार्केट क्रैश के बाद रिकवरी आई है। ऐसे में, धैर्य बनाए रखना और सही स्ट्रैटेजी के साथ आगे बढ़ना ही समझदारी होगी।
अगले कुछ दिनों में बाजार की चाल पर नजर रखें, क्योंकि यह गिरावट नए अवसर भी ला सकती है!