कानपुर, वाइबीएन संवाददाता
रामनवमी का त्योहार शांतिपूर्ण कराने को लेकर पुलिस प्रशासन पूरी तरह मुस्तैद है। हालांकि, शनिवार की शाम रावतपुर और मसवानपुर में पुलिस द्वारा अतिरिक्त साउंड सिस्टम हटवाए जाने से आक्रोश भड़क गया और शोभायात्रा के आयोजकों ने धरना देते हुए हंगामा शुरू कर दिया। डीसीपी पहुंचीं तो भीड़ ने पुलिस-प्रशासन मुर्दाबाद के नारे लगाने शुरू कर दिए। हालात बिगड़ते देखकर अफसरों ने भारी पुलिस फोर्स बुला लिया, हेलमेट और लाठी से लैस पुलिस बल ने पूरा क्षेत्र कवर कर लिया। पुलिस और आयोजकों के बीच देर शाम तक कई दौर की वार्ता हुई। वहीं बड़ी संख्या में लोगों का जमावड़ा चौराहों और सड़कों पर देर रात तक लगा रहा। फिलहाल स्थिति सामान्य है और भारी पुलिस फोर्स तैनात है।
रामलला मंदिर से रामनवमी पर निकलती शोभायात्रा
रावतपुर में रामलला का प्राचीन मंदिर हैं, यहां प्रतिवर्ष रामनवमी पर शोभायात्रा निकाली जाती है। रावतपुर से लेकर मसवानपुर तक शोभायात्रा के रूट पर घरों पर ध्वज-पताका लगाने के साथ हर गली व सड़कें झंडी की लड़ी से सजाई जाती हैं। इसके साथ ही जगह जगह चौराहों पर साउंड स्पीकर लगाकर शोभायात्रा के स्वागत की व्यवस्था की जाती है। वहीं शोभायात्रा के लिए अलग अलग आयोजक अपने वाहन तैयार करते हैं, जिसमें झंडे-बैनर लगाने के साथ साउंड स्पीकर रखकर भक्ति गीत बजाते चलते हैं। इस बार पुलिस प्रशासन ने साउंड स्पीकर को लेकर सख्ती दिखाई तो हालात बिगड़ गए हैं।
दोपहर बाद से शुरू हुई तनातनी, देर शाम बिगड़े हालात
दोपहर में पुलिस की टीम ने शोभायात्रा रूट पर गश्त करनी शुरू की तो सड़कों पर जगह और चौराहों पर लग रहे सांउड सिस्टम हटाने की ताकीद की। वहीं शोभायात्रा के लिए सज रहे वाहनों से ज्यादा साउंड स्पीकर लगाने से मना किया, सिर्फ एक या दो साउंड रखने को कहा। पुलिस की बात को अनसुना करते हुए आयोजकों ने हर साल की तरह इस बार भी अपनी तैयारी पूरी कर ली। शाम होने पर पुलिस फाेर्स पहुंचा और चौराहों में लगे साउंड स्पीकर खुलवाकर जब्त करना शुरू कर दिया। इससे आयोजकों और पुलिस में बहस शुरू हो गई। लोग सड़कों पर उतरकर आए और धरने पर बैठ गए, जिससे जाम की स्थिति बन गई।
डीसीपी के पहुंचने पर बढ़ी रार
जानकारी मिलते ही डीसीपी पश्चिम आरती सिंह देर शाम भारी पुलिस फोर्स के साथ रावतपुर पहुंच गईं। उन्होंने चौराहाें, गली, मोहल्लों में लगे साउंड को हटवाना शुरू कर दिया। कई साउंड स्पीकर जब्त करवा लिए। इससे आयोजकों और कार्यकर्ताओं में भारी रोष उत्पन्न हो गया और पुलिस के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। लोग घरों से बाहर आ गए और भीड़ बढ़नी शुरू हो गई। हंगामा करने के साथ ही लोगों ने पुलिस प्रशासन के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगाने शुरू कर दिए। आयोजकों का कहना है कि डीजे साउंड पुलिस हटवाकर तानाशाही का काम कर रही है। इसपर पुलिस फोर्स ने हटना ही उचित समझा। इस दौरान थाने में तैनात रहे रह चुके पुलिस प्रभारियों ने लोगों को समझाने का प्रयास किया लेकिन कोई भी मानने काे तैयार नहीं हुआ। आयोजकों और पुलिस के बीच कई दौर की बातचीत बेनतीजा साबित हुई। कार्यकर्ता पहले की तरह साउंड बजाने की मांग करते रहे। लोगों का कहना है कि वह तबतक धरने से नहीं उठेंगे जबतक प्रशासन से कोई आश्वासन नहीं मिल जाता है। मसवानपुर चौराहे पर भी लोग धरना देकर नारेबाजी कर अपनी मांगों पर अड़े हैं।
सुबह से ही बिगड़ने लगी थी बात
मसवानपुर चौराहे से ब्रह्मदेव चौराहे तथा छपेड़ा पुलिया पर आयोजकों ने साउंड सिस्टम लगाकर एक सड़क को ब्लाक कर दिया था। इसपर पुलिस साउंड हटवाने और रोड खुलवाने पहुंची लेकिन बात न बनने पर लोगों को वार्ता के लिए दोपहर को रावतपुर थाने बुलाया था। इसके बाद भारी संख्या में लोग थाने पहुंच गए। यहां एडिशनल एसपी राजेश कुमार श्रीवास्तव, कल्याणपुर एसीपी अभिषेक कुमार पांडे ने आयोजकों के साथ बैठक करके सुप्रीम कोर्ट की गाइड लाइन का हवाला देते हुए समझाने का प्रयास किया, जिसके बाद आयोजकों में कुछ सहमति बनी। आयोजकों ने अपने साउंड हटा लिए और रोड खोल दी और आवागमन चालू हो सका।
पिछले वर्ष भी बनी थी असमंजस की स्थिति
पिछले वर्ष भी रामनवमी पर पुलिस द्वारा साउंड सिस्टम लगाने को लेकर किसी भी तरह के दिशा निर्देश न दिए जाने से असमंजस की स्थिति बनी थी। आयोजकों ने कई कई फीट ऊंचे साउंड लगा रखे थे और अधिक ध्वनि होने से लोग परेशान हुए थे और 112 नंबर शिकायत पर पुलिस आ गई थी। पुलिस ने आयोजकों के साथ मीटिंग करके समस्या का हल निकाला था। पिछले वर्ष की घटना के बावजूद पुलिस प्रशासन ने इस बार कोई तैयारी नहीं की, शोभायात्रा को लेकर आयोजकों के साथ बैठक हुई लेकिन साउंड सिस्टम को लेकर कोई दिशा निर्देश नहीं दिए गए। शायद यही वजह रही कि आयोजकों में साउंड सिस्टम लगाने को लेकर असमंजस की स्थिति बनी रही।
आयोजकों का कहना- पुलिस ने नहीं दी कोई गाइडलाइन
आयोजकों का कहना है कि पुलिस रामनवमी को लेकर आयोजकों के साथ बैठक तो जरूर करती है लेकिन साउंड सिस्टम लगाने पर स्थिति साफ नहीं करती है। रामनवमी के एक दिन पहले ही रात को साउंड स्पीकर चौराहे चौराहे लगने लगते हैं और सजावट का भी कार्य पूरा कर लिया जाता है। साउंड लगने के बाद ही प्रशासन गौर करता है, यदि लगाने से पहले से ही पुलिस ध्यान दे तो ऐसे हालात न बनें।
रावतपुर में भारी संख्या में पुलिस फोर्स तैनात
रामनवमी की शोभायात्रा को लेकर प्रशासन सतर्क है। सुरक्षा के मद्देनजर कई पीएससी बटालियन, कई थानों के फोर्स के साथ उच्चाधिकारी रावतपुर में डेरा डाले हुए हैं, वहीं ड्रोन से भी क्षेत्र की निगरानी रखी जा रही है। डीसीपी आरती सिंह ने बताया कि रावतपुर थाना क्षेत्र में जगह जगह साउंड सिस्टम लगे हुए थे, जबकि सिर्फ दो साउंड सिस्टम की अनुमति दी गई थी और उनकी डेसिबल (आवाज) भी मानक के अनुरूप करने को कहा गया था। इसके बाद भी पाया गया कि काफी ज्यादा मात्रा में साउंड सिस्टम लगाए गए थे, ये सारे साउंड सिस्टम हटवाए गए हैं। कुछ साउंड सिस्टम पुलिस ने सीज भी किए हैं, वहीं कुछ आयोजकों ने आगे आकर साउंड सिस्टम हटाकर संख्या दो ही कर दी है। वहीं उनका डेसीबल यानि आवाज भी कम करने की बात कही है।