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Indian Army का बयान: भारत-पाकिस्तान संघर्षविराम खत्म होने की खबरें भ्रामक और निराधार

भारतीय सेना ने स्पष्ट रूप से उन मीडिया रिपोर्ट्स का खंडन किया है जिनमें दावा किया गया था कि भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्षविराम (सीजफायर) समझौता आज समाप्त हो रहा है। सेना ने कहा कि इस तरह की खबरें पूरी तरह गलत और भ्रामक हैं।

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Ranjana Sharma
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नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क: भारतीय सेना ने उन मीडिया रिपोर्टों का खंडन किया है जिनमें यह दावा किया जा रहा था कि भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्षविराम (सीजफायर) समझौता आज समाप्त हो रहा है। सेना का कहना है कि इस तरह की खबरों से जनता के बीच भ्रम की स्थिति पैदा हो रही है, जबकि वास्तविकता इससे बिल्कुल अलग है।

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किसी भी प्रकार की वार्ता निर्धारित नहीं 

सेना ने अपने आधिकारिक बयान में यह स्पष्ट किया कि भारत और पाकिस्तान के डायरेक्टर जनरल ऑफ मिलिट्री ऑपरेशंस (DGMO) स्तर पर आज किसी भी प्रकार की वार्ता निर्धारित नहीं है। बावजूद इसके, कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में यह दावा किया जा रहा है कि दोनों देशों के बीच DGMO स्तर की बातचीत आज होनी है, जो पूरी तरह गलत और भ्रामक है।

संघर्षविराम को लेकर फैलाई जा रही खबरें आधारहीन

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भारतीय सेना ने साफ-साफ कहा है कि संघर्षविराम को लेकर फैलाई जा रही खबरें पूरी तरह आधारहीन हैं और इन पर विश्वास न किया जाए। सेना के अनुसार, 12 मई को भारत और पाकिस्तान के डीजीएमओ के बीच जो बातचीत हुई थी, उसमें संघर्षविराम को लेकर जो सहमति बनी थी, उसमें इसकी कोई समाप्ति तिथि निर्धारित नहीं की गई थी। इसका मतलब यह है कि यह सहमति अनिश्चितकाल तक प्रभावी रहेगी और इसे समाप्त करने के लिए किसी विशेष तिथि या समयसीमा का उल्लेख नहीं किया गया है।

संघर्षविराम समझौता अभी भी लागू 

वास्तव में, पिछले कुछ दिनों से कुछ मीडिया हाउस लगातार यह रिपोर्टें चला रहे थे कि भारत-पाकिस्तान के बीच संघर्षविराम का समझौता आज समाप्त हो जाएगा। इसके अलावा DGMO स्तर की वार्ता को लेकर भी तरह-तरह के कयास लगाए जा रहे थे, जिससे स्थिति और अधिक उलझ गई थी। अब भारतीय सेना के ताजा बयान के बाद यह पूरी तरह से स्पष्ट हो गया है कि भारत और पाकिस्तान के बीच जो संघर्षविराम समझौता है, वह अभी भी लागू है और उसे रद्द करने या समाप्त करने की कोई तिथि तय नहीं की गई है। साथ ही, DGMO स्तर पर भी आज कोई वार्ता प्रस्तावित नहीं है। सेना ने लोगों से अपील की है कि वे इस प्रकार की अफवाहों पर ध्यान न दें और केवल आधिकारिक स्रोतों से मिली जानकारी पर ही भरोसा करें। Indian Army

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