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Nagpur Violence: औरंगजेब और अफवाह से फैली हिंसा, ATS व NIA ने शुरू की जांच...जानिए अब तक के ताजा अपडेट्स

नागपुर हिंसा ने राज्य की सुरक्षा व्यवस्था और सामाजिक सौहार्द को चुनौती दी है। हालांकि, पुलिस और सुरक्षा बलों ने स्थिति पर काबू पाने के लिए तत्परता दिखाई है, लेकिन अब तक की जांच से यह साफ है कि अफवाहों ने भारी नुकसान पहुंचाया।

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Vibhoo Mishra
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नागपुर, वाईबीएन नेटवर्क। 

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नागपुर में औरंगजेब की कब्र को लेकर फैली एक अफवाह ने हिंसा की आग को भड़काया, जिसके बाद शहर के विभिन्न इलाकों में तनाव और संघर्ष की स्थिति उत्पन्न हो गई। इस हिंसा में अब तक 50 लोगों को गिरफ्तार किया गया है और पुलिस ने कोर्ट से इन सभी को 21 मार्च तक न्यायिक हिरासत में भेजे जाने की मंजूरी ली है। ATS और NIA इस मामले की जांच में जुटी हुई हैं और विभिन्न एंगल्स से पड़ताल की जा रही है। ATS और NIA की संयुक्त जांच से मामले के और गंभीर पहलुओं का खुलासा हो सकता है, जबकि राजनीतिक बयानबाजी भी इस घटना को और जटिल बना रही है।

अफवाह का प्रभाव

नागपुर हिंसा का कारण एक अफवाह बनी, जिसमें कहा गया था कि औरंगजेब की कब्र पर रखी चादर को जलाया गया था, जिसपर धार्मिक चिह्न था। इस अफवाह ने व्यापक हिंसा को जन्म दिया, जिससे शहर में तनाव का माहौल बन गया।

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गिरफ्तारी और जांच

नागपुर पुलिस ने अब तक 50 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। जांच CCTV फुटेज और अन्य सूचनाओं के आधार पर जारी है। ATS और NIA भी इस मामले की जांच में शामिल हैं।

कड़े सुरक्षा बंदोबस्त 

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पुलिस ने हिंसा के बाद महाल इलाके समेत शहर के संवेदनशील इलाकों में सुरक्षा बढ़ा दी है। RSS मुख्यालय के चारों ओर कड़ा पहरा है।

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हमले में घायल पुलिस

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हिंसा में 33 पुलिसकर्मी घायल हुए, जिनमें 3 डीसीपी स्तर के अधिकारी भी शामिल हैं। कुछ आम नागरिकों को भी चोटें आईं।

रूट मार्च

दंगा प्रभावित इलाकों में पुलिस आयुक्त ने रूट मार्च किया। पुलिस यह जांच कर रही है कि हिंसा किस प्रकार से भड़की और कुछ लोगों ने इसे किस तरह से और बढ़ाया।

मुख्यमंत्री फडणवीस की प्रतिक्रिया

मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि हिंसा अफवाह से शुरू हुई थी और यह राज्य में कानून-व्यवस्था को बिगाड़ने की साजिश थी। उन्होंने कहा कि हिंसा में 12 दोपहिया वाहन, एक क्रेन, दो जेसीबी और कुछ चार-पहिया वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया।

सांसदों की प्रतिक्रिया

इस मामले पर राजनीतिक प्रतिक्रियाएं भी सामने आईं। शिवसेना (यूबीटी) नेता आदित्य ठाकरे ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए इसे पार्टी की पुरानी रणनीति बताया, जिसे मणिपुर में भी लागू किया गया था।

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प्रकाश अंबेडकर का बयान

वंचित बहुजन आघाड़ी के अध्यक्ष प्रकाश अंबेडकर ने आरोप लगाया कि बीजेपी औरंगजेब की कब्र को चुनावी मुद्दा बनाकर आगामी 2026 के चुनावों में फायदा उठाने की कोशिश कर रही है।

बीजेपी का पलटवार

बीजेपी के सोशल मीडिया प्रमुख अमित मालवीय ने इस हिंसा के लिए समाजवादी पार्टी, कांग्रेस और अन्य विपक्षी नेताओं को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने आरोप लगाया कि ये नेता तुष्टिकरण की राजनीति कर सामाजिक सौहार्द को बिगाड़ रहे हैं।

संवेदनशील इलाकों में कर्फ्यू

नागपुर के विभिन्न इलाकों में कर्फ्यू लगाया गया है, और पुलिस ने वहां पर रात्रिकालीन गश्त को बढ़ा दिया है। स्थानीय प्रशासन पूरी तरह से स्थिति पर काबू पाने में जुटा हुआ है।

 

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