जम्मू-कश्मीर, वाईबीएन डेस्क | रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बादामी बाग छावनी में जवानों से मुलाकात की और उनसे बातचीत की। जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने बादामी बाग छावनी में जवानों के साथ 'भारत माता की जय' के नारे लगाए। रक्षा मंत्री ने यहां जवानों को संबोधित किया। बता दें, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और आर्मी चीफ जनरल उपेंद्र द्विवेदी जम्मू-कश्मीर पहुंच गए हैं। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बादामी बाग छावनी में गिराए गए पाकिस्तानी गोलीबारी के अवशेषों का निरीक्षण किया। वहीं जनरल उपेंद्र द्विवेदी, सेना प्रमुख ने चिनार कोर के डैगर डिवीजन के अग्रिम ठिकानों का दौरा किया और सभी रैंकों से बातचीत की।
भारत को अनेक बार एटमी धमकियां दी
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने जवानों को संबोधित करते हुए पूरे देश और दुनिया को साफ कर दिया कि पाकिस्तान बात करने के लायक नहीं है। पाकिस्तान से समझदारी और विचार विमर्श की उम्मीद नहीं की जा सकती है। पाकिस्तान से सिर्फ आंतकवाद और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) पर ही बात होगी। राजनाथ सिंह ने कहा "पूरी दुनिया ने देखा है कि कैसे ग़ैर ज़िम्मेदाराना तरीक़े से पाकिस्तान द्वारा भारत को अनेक बार एटमी धमकियां दी गईं हैं। राजनाथ सिंह ने कश्मीर से सवाल किया कि क्या ऐसे ग़ैर ज़िम्मेदार और धूर्त राष्ट्र के हाथों में परमाणु हथियार सुरक्षित हैं? मैं मानता हूं कि पाकिस्तान के एटमी हथियारों को IAEA यानि (अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी) की निगरानी में लिया जाना चाहिए।"
आतंकवादी संगठनों को पनाह देना बंद करे
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, "ऑपरेशन सिंदूर आतंकवाद के ख़िलाफ़ भारत द्वारा चलाई गई, अब तक के इतिहास की सबसे बड़ी कार्रवाई है। 35-40 वर्षों से भारत सरहद पार से चलाये जा रही आतंकवाद का सामना कर रहा है। आज भारत ने पूरी दुनिया के सामने स्पष्ट कर दिया है कि आतंकवाद के ख़िलाफ़ हम किसी भी हद तक जा सकते हैं। पहलगाम में आतंकवादी घटना को अंजाम देकर भारत के माथे पर चोट पहुंचाने का काम किया, भारत की सामाजिक एकता को तोड़ने का प्रयास किया गया। उन्होंने भारत के माथे पर वार किया, हमने उनकी छाती पर घाव दिए हैं। पाकिस्तान के ज़ख्मों का इलाज इसी बात में है कि वह भारत विरोधी और आतंकवादी संगठनों को पनाह देना बंद करे, अपनी ज़मीन का इस्तेमाल भारत के ख़िलाफ़ न होने दे।"
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