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Corruption : चौकी इंचार्ज 50 हज़ार की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार

भ्रष्टाचार के खिलाफ चलाए जा रहे अभियानों के बीच ग़ाज़ियाबाद पुलिस महकमे से एक शर्मनाक खबर सामने आई है। थाना भोजपुर क्षेत्र की कलछीना चौकी के प्रभारी राजीव कुमार को एंटी करप्शन टीम ने 50 हज़ार रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। उन पर आरोप

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Syed Ali Mehndi
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आरोपी का फोटो

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ग़ाज़ियाबाद, वाईबीएन संवाददाता

भ्रष्टाचार के खिलाफ चलाए जा रहे अभियानों के बीच ग़ाज़ियाबाद पुलिस महकमे से एक शर्मनाक खबर सामने आई है। थाना भोजपुर क्षेत्र की कलछीना चौकी के प्रभारी राजीव कुमार को एंटी करप्शन टीम ने 50 हज़ार रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। उन पर आरोप है कि उन्होंने एक व्यक्ति से उसके खिलाफ दर्ज मुकदमे में ‘फर लगाने’ और कार्रवाई न करने के नाम पर रिश्वत मांगी थी।

एंटी करप्शन टीम

सूत्रों के मुताबिक, पीड़ित पक्ष ने चौकी प्रभारी द्वारा रिश्वत मांगने की शिकायत सीधे एंटी करप्शन विभाग में दर्ज कराई थी। शिकायत की गंभीरता को देखते हुए टीम ने पूरी योजना बनाई और जाल बिछाया। जैसे ही राजीव कुमार ने रिश्वत की रकम स्वीकार की, मौके पर ही एंटी करप्शन की टीम ने उन्हें पकड़ लिया। यह कार्रवाई होते ही पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया।बताया जा रहा है कि आरोपी चौकी प्रभारी ने फर लगाने और मामले को कमजोर करने के लिए 50 हज़ार रुपये की मांग की थी। पीड़ित व्यक्ति ने मजबूरी में इसकी जानकारी अधिकारियों को दी। टीम ने पहले से ही नोटों की गड्डी को ट्रैप मनी के रूप में तैयार किया था। जैसे ही आरोपी ने पैसे लिए, वैसे ही पूरी टीम सक्रिय हो गई और उन्हें धर दबोचा।

कड़ी कार्रवाई 

गिरफ्तारी के बाद आरोपी चौकी प्रभारी को पूछताछ के लिए ले जाया गया है। विभागीय सूत्रों का कहना है कि उनके खिलाफ निलंबन की कार्रवाई भी तत्काल प्रभाव से की जा सकती है। साथ ही, यह भी जांच की जाएगी कि क्या उन्होंने इससे पहले भी अन्य लोगों से इसी तरह वसूली की है।इस घटना के सामने आने के बाद आम लोगों में गुस्सा और निराशा दोनों दिखाई दे रही है। लोगों का कहना है कि जिन पर कानून और व्यवस्था बनाए रखने की जिम्मेदारी होती है, जब वही अधिकारी भ्रष्टाचार में लिप्त पाए जाते हैं तो आम जनता का विश्वास टूटता है। स्थानीय निवासियों का कहना है कि चौकी स्तर पर भ्रष्टाचार आम हो चुका है और जब तक ऐसे मामलों में सख्त कार्रवाई नहीं होगी, तब तक व्यवस्था में सुधार संभव नहीं है।

जीरो टॉलरेंस की नीति

एंटी करप्शन विभाग के अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि रिश्वतखोरी और भ्रष्टाचार को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उनका कहना है कि पुलिस महकमे की साख बचाने के लिए ऐसे मामलों में जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई जाएगी।उधर, वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने भी मामले को गंभीरता से लेते हुए कहा है कि आरोपी चौकी प्रभारी को हर हाल में सजा दी जाएगी। साथ ही, अन्य थाना और चौकी प्रभारियों को भी सख्त चेतावनी दी गई है कि यदि कोई भी भ्रष्टाचार में लिप्त पाया गया तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

गहरी भ्रष्टाचार की जड़े 

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यह घटना एक बार फिर यह सवाल खड़ा करती है कि क्या आम जनता को न्याय दिलाने वाली संस्थाओं में अब भी भ्रष्टाचार की जड़ें गहरी हैं? एंटी करप्शन टीम की यह कार्रवाई निश्चित रूप से भ्रष्ट अधिकारियों के लिए चेतावनी है, लेकिन साथ ही इस बात की भी जरूरत है कि पूरे सिस्टम में पारदर्शिता और ईमानदारी को बढ़ावा दिया जाए।अगर ऐसे मामलों में लगातार कड़ी कार्रवाई होती रही तो निश्चित ही पुलिस महकमे की छवि सुधरेगी और जनता का भरोसा भी दोबारा कायम हो सकेगा।

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