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Encouragement: महाकुंभ में गाजियाबाद का नाम रोशन कर रहे हैं डासना जेल के कैदी

गाजियाबाद की डासना जेल के कैदियों में कितनी प्रतिभा है इसका प्रदर्शन महाकुंभ में लगने वाली प्रदर्शनी में हो रहा है। न सिर्फ लोग देखकर अचरज कर रहे हैं, बल्कि उन्हें खरीद भी रहे हैं।

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Syed Ali Mehndi
कैदियों द्वारा तैयार किया गया सामान

कैदियों द्वारा तैयार किया गया सामान

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गाजियाबाद संवाददाता। 

प्रयागराज महाकुंभ में गाजियाबाद के बंदियों द्वारा तैयार की गई पेंटिंग और अन्य उत्पादों की प्रदर्शनी वहां की भव्यता में चार चांद लगाने का काम कर रही हैं।जेल मंत्री के निर्देश और डीजी जेल के आदेश पर डासना जेल में बनाई जा रहीं बंदियो की पेंटिंग्स व अन्य उत्पादों की भी न सिर्फ लोग तारीफ कर रहे हैं, बल्कि उन्हें खरीद भी रहे हैं। डासना जेल में बंदी कई और भी क्रिएटिवी कर रहे  हैं। जेल प्रशासन बंदियो का ध्यान अपराध से हटाकर उन्हें आत्मनिर्भर बनाने की में जुटा है।

जेल में हुनर, निखारने का हो रहा प्रयास

प्रयागराज में आयोजित महाकुम्भ-2025 मेले में जेल प्रशासन एवं सुधार सेवायें यूपी के कैदियों के हुनर की झलक सीधे जनता तक पहुंचाने की पहल हुई है। इसके तहत राज्य की विभिन्न जेल से बंदियों द्वारा निर्मित विभिन्न उत्पादों की प्रदर्शनी लगायी गयी है। जिसमें जिला जेल डासना गाजियाबाद के बंदियों की जेल में रहते हुये बनाई पेंटिंग भी है। ये राज्य सरकार के कौशल विकास मिशन के अन्तर्गत व्यवसायिक हुनर अर्जित करने की योजना के तहत बंदियों ने तैयार की हैं।

उत्पाद बहुत, मगर पेंटिंग पर ज्यादा फोकस-जेल अधीक्षक

कैदियों द्वारा तैयार किया गया सामान

जेल अधीक्षक सीताराम शर्मा ने बताया कि ये उत्पाद और पेंटिंग्स, एम्ब्राइडरी पेंटिंग्स मोमबत्ती व मिट्टी के दीये, पोटरी, होम-डेकार इत्यादि के स्टॉल महाकुम्भ मेला में भी लगाये गये हैं। जिन्हें उचित मूल्य पर आमजन को बेचा भी जा रहा है। महाकुम्भ मेला भ्रमण करने आये श्रद्धालुओं द्वारा बंदियों द्वारा निर्मित उक्त उत्पादों विशेष रूप से पेंटिंग्स को बहुत ज्यादा पसंद किया जा रहा है। 

कैदियों के पुनर्वास के लिए महत्वपूर्ण कदम

जिला जेल डासना गाजियाबाद के बंदियों द्वारा निर्मित उत्पादों की ख्याति एवं उत्तम गुणवत्ता के दृष्टिगत और अधिक मात्रा में उत्पादों को महाकुम्भ मेला में भेजे जाने की निरन्तर मांग आर ही है। उल्लेखनीय है कि बंदी सुधार, कल्याण एवं पुनर्वास के उद्देश्य से कारागार में बंदियों को विभिन्न कौशल में प्रशिक्षित कर उनके उत्पादों को आमजन तक पहुंचाया जा रहा है, जिससे बंदी जेल से रिहा होने के पश्चात् अपने कौशल के द्वारा आत्मनिर्भर होकर समाज की मुख्य धारा मे शामिल हो।

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