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GDA : कागज़ो में हो रहा है विकास फाइलों में बंद है योजनाएं

दिल्ली से सटे गाजियाबाद में ट्रैफिक जाम की समस्या अब दूर होने की उम्मीद है। जीडीए की महायोजना 2031 के तहत जिले में दो ट्रांसपोर्ट नगर और तीन ट्रक पार्किंग विकसित की जाएंगी। लेकिन कई बार घोषणाएं एवं हलचल होने के बावजूद भी फिलहाल धरातल पर कुछ

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Syed Ali Mehndi
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फाइल फोटो

गाजियाबाद, वाईबीएन संवाददाता

दिल्ली से सटे गाजियाबाद में ट्रैफिक जाम की समस्या अब दूर होने की उम्मीद है। जीडीए की महायोजना 2031 के तहत जिले में दो ट्रांसपोर्ट नगर और तीन ट्रक पार्किंग विकसित की जाएंगी। लेकिन कई बार घोषणाएं एवं हलचल होने के बावजूद भी फिलहाल धरातल पर कुछ दिखाई नहीं दे रहा है।

 जमीन की गई चिन्हित 

जीडीए अधिकारियों के अनुसार, लोनी और लालकुआं में ट्रांसपोर्ट नगर के लिए जमीन चिह्नित की गई है। लोनी में एलपीजी प्लांट के पास 12 एकड़ और लालकुआं में 10 एकड़ जमीन प्रस्तावित है। वहीं, ट्रक पार्किंग लोनी के फर्रुखनगर रोड, राजनगर एक्सटेंशन के अटौर और मोदीनगर के भोजपुर में बनाई जाएगी।इन परियोजनाओं के पूरा होने के बाद ट्रकों की शहर में एंट्री बंद हो जाएगी। ट्रक केवल ट्रांसपोर्ट नगर तक आएंगे और वहीं से माल की लोडिंग-अनलोडिंग होगी। 

 जाम से मिलेगी राहत

इससे शहर के बीचोंबीच लगने वाले जाम से राहत मिलेगी।जानकार बताते हैं कि महायोजना 2021 में भी ट्रांसपोर्ट नगर और सिटी फॉरेस्ट का प्रस्ताव था, लेकिन योजना धरातल पर नहीं उतर पाई। अब महायोजना 2031 लागू होने के बाद जीडीए ने सिटी लॉजिस्टिक प्लान तैयार किया है।गाजियाबाद को यूपी का प्रवेश द्वार कहा जाता है। यहां 45 हजार से अधिक उद्योग और सवा लाख से ज्यादा व्यापारी हैं। इतनी बड़ी औद्योगिक नगरी होने के कारण ट्रांसपोर्टरों की संख्या भी काफी है। लंबे समय से ट्रांसपोर्ट नगर की मांग की जा रही थी, जिसे अब मंजूरी मिल गई है।विशेषज्ञों का मानना है कि अगर योजना समय पर पूरी हुई तो जिले की तस्वीर बदल जाएगी और उद्योग-व्यापार को नई रफ्तार मिलेगी।

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