Advertisment

Maha shivratri: 24 घंटे 1022 सफाई मित्रों ने संभाली मंदिरों के आस-पास सफाई की कमान

महापर्व पर्व पर सफाई के अलावा मंदिरों के आस-पास पथप्रकाश और जलापूर्ति समेत अन्य व्यवस्थाओं को दुरूस्त करने के लिए निगम ने 1022 सफाई मित्रों के अलावा सैकड़ों की तादात में कर्मचारियों की तैनाती की थी। सबकुछ निबटने के बाद निगम अफसर राहत महसूस कर रहे हैं।

author-image
Rahul Sharma
GZB nagar nigam rahat

शहर में महापर्व पर सफाई और चूने से सजावट के काम में जुटे सफाई मित्र।

Listen to this article
0.75x 1x 1.5x
00:00 / 00:00

गाजियाबाद, वाईबीएन संवाददाता।

Advertisment

पिछले 24 घंटे से लगातार मंदिरों और उनके आसपास सफाई की व्यवस्था को दुरुस्त रखने के लिए इस बार निगम ने 1022 सफाई मित्रों को लगाया। जबकि पथ प्रकाश व्यवस्था से लेकर अन्य इंतजामों में भी सैकड़ों की संख्या में अधिकारी-कर्मचारियों की तैनाती 24 घंटे शिफ्टों में की थी। महा पर्व के संपन्न होने के बाद निगम अफसरों ने राहत की सांस ली है।

24 घंटे शिफ्टों में लगी डयूटी

पिछले करीब 24 घंटे से नगर निगम ने 1022 कर्मचारियों की डयूटी सफाई के कामकाज में लगाई थी। पूरे शहर के मंदिरों और उनके आस-पास के इलाकों में इन्हें न सिर्फ सफाई का जिम्मा सोंपा गया था। बल्कि चूने के छिड़काव और चूने से रंगोलियां बनाकर शहर के चौराहों-तिराहों के सोंदर्यीकरण का काम भी दिया था। 

Advertisment

वेस्ट उठान के लिए अलग टीमें लगाईं

GZB nagar nigam rahat-2
सफाई व्यवस्था में जुटे कर्मचारी और व्यवस्थाओं का जायजा लेते अफसर।

 

Advertisment

मंदिरों और उनके आस-पास से वेस्ट उठान के लिए भी अलग-अलग टीमों को लगाया गया था। निगम की छोटी-बड़ी गाड़ियों से वेस्ट उठान के साथ-साथ निगम जोन में लगाए गए करीब तीन सौ डस्बिन के जरिये वेस्ट उठान की कवायद की गई।

पथ प्रकाश के लिए लगाई गईं विशेष टीम

नगर आयुक्त विक्रमादित्य सिंह मलिक के मुताबिक जहां अकेले दूधेश्वर नाथ मंदिर पर होने वाले महा आयोजन के लिए अतिरिक्त दो हजार लाईट्स अस्थाई तौर पर लगाई गईं, वहीं अन्य इलाकों में भी इस व्यवस्था के लिए 24 घंटे प्रकाश विभाग के कर्मचारियों और अफसरों को लगाया गया था।

Advertisment

नगरायुक्त ने दी बधाई

नगर आयुक्त ने सभी कर्मचारी और अफसरों को महाशिवरात्रि पर्व को बखूबी सफलता से संपन्न कराने में जिम्मेदारी निभाने पर बधाई देते हुए कहा कि सामूहिक प्रयास किए जाएं तो व्यवस्थाओं को बेहतर से ज्यादा बेहतर किया जा सकता है।

Advertisment
Advertisment