Advertisment

Politics : मिशन 2027 लोकतंत्र को बचाने की जंग, कांग्रेस सक्रिय

जिला युवक कांग्रेस के नेतृत्व में "वोट चोरी रोकने" का अभियान ज़ोर पकड़ रहा है। जिला अध्यक्ष आसिफ सैफी के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने शनिवार को घर-घर जाकर मतदाताओं को जागरूक किया और बताया कि लोकतंत्र को बचाने के लिए हर नागरिक का सतर्क रहना ज़रूरी है।

author-image
Syed Ali Mehndi
20250913_145514_0000

युवा कांग्रेस का अभियान

गाजियाबाद, वाईबीएन संवाददाता

जिला युवक कांग्रेस के नेतृत्व में "वोट चोरी रोकने" का अभियान ज़ोर पकड़ रहा है। जिला अध्यक्ष आसिफ सैफी के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने शनिवार को घर-घर जाकर मतदाताओं को जागरूक किया और बताया कि लोकतंत्र को बचाने के लिए हर नागरिक का सतर्क रहना ज़रूरी है।

मिशन 2027 

आसिफ सैफी ने मतदाताओं को संबोधित करते हुए कहा कि मौजूदा सरकार जनता के वोटों से सत्ता में नहीं आई, बल्कि वोट चुराकर काबिज़ हुई है। उनका कहना था कि "मोदी सरकार को न युवाओं की चिंता है, न उनके भविष्य की। यह सरकार पहले वोट चुराएगी, फिर परीक्षाएं चुराएगी, फिर नौकरियां चुराएगी और आखिरकार जनता के हक़ और आवाज़ दोनों को कुचल देगी। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है कि देश का हर नागरिक जागरूक होकर लोकतंत्र की रक्षा करे। यह केवल एक राजनीतिक संघर्ष नहीं बल्कि संविधान और अधिकारों को बचाने की जंग है।

एकजुट दिखी कांग्रेस 

प्रदेश सचिव इमरान मलिक ने भी कार्यकर्ताओं का हौसला बढ़ाया। उन्होंने कहा कि "देश में सत्ता वोट से आती है। अगर वोट ही चुराया जाएगा तो लोकतंत्र का कोई मतलब नहीं बचेगा। इसलिए युवाओं और मतदाताओं को आगे बढ़कर इस साज़िश के खिलाफ आवाज़ उठानी होगी।आसिफ सैफी ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि मौजूदा सत्ता गरीबों, किसानों, युवाओं, अल्पसंख्यकों और बहुजनों की आवाज़ को दबा रही है। यही कारण है कि उनकी मांगे कभी सरकार की प्राथमिकता नहीं बनतीं। उन्होंने कहा कि "अब हम डरेंगे नहीं, बल्कि डटकर मुकाबला करेंगे।"

लोकतंत्र और मतदान

इस अभियान का मकसद सिर्फ वोट चोरी रोकना ही नहीं, बल्कि जनता को यह समझाना भी है कि लोकतंत्र केवल मतदान से नहीं चलता, बल्कि जागरूकता और एकजुटता से मजबूत होता है।युवक कांग्रेस का यह जनसंपर्क अभियान धीरे-धीरे असर दिखा रहा है। स्थानीय लोगों ने कार्यकर्ताओं की बातों से सहमति जताई और आश्वासन दिया कि वे सतर्क रहकर मतदान करेंगे।लोकतंत्र को बचाने की यह जंग केवल राजनीतिक दलों की नहीं बल्कि हर आम नागरिक की है। सवाल अब यही है कि क्या जनता इस चुनौती का सामना कर पाएगी और अपने वोट व अधिकारों की रक्षा कर पाएगी या फिर सत्ता की चालें लोकतंत्र को कमजोर करती रहेंगी। आसिफ सैफी और उनके कार्यकर्ताओं का कहना है कि वे पीछे नहीं हटेंगे और हर कीमत पर लोकतंत्र की रक्षा करेंगे।

Advertisment
Advertisment