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Protest : उज्जवल की मौत पर उबाल, किसान यूनियन ने किया यशोदा अस्पताल का घेराव

कौशांबी स्थित यशोदा सुपर हॉस्पिटल में एक दर्दनाक घटना घटित हुई है, जिसमें 35 वर्षीय उज्जवल की मौत हो गई। उज्जवल को हर्निया के ऑपरेशन के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया था, ऑपरेशन के बाद उनकी मौत हो गई। आरोप है कि गलत इलाज के कारण उज्जवल की मौत हुई है।

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Syed Ali Mehndi
पीड़ित पक्ष से बात करते सीएमओ

पीड़ित पक्ष से बात करते सीएमओ

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गाजियाबाद, वाईबीएन संवाददाता 

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कौशांबी स्थित यशोदा सुपर हॉस्पिटल में एक दर्दनाक घटना घटित हुई है, जिसमें मुजफ्फरनगर के रहने वाले 35 वर्षीय उज्जवल की मौत हो गई। उज्जवल को हर्निया के ऑपरेशन के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया था, लेकिन ऑपरेशन के बाद उनकी मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि गलत इलाज के कारण उज्जवल की मौत हुई है।

विरोध प्रदर्शन करते किसान नेता
विरोध प्रदर्शन करते किसान नेता

 

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गौरव टिकैत मौजूद 

इस घटना के बाद, भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत के बेटे गौरव टिकैत समेत अन्य लोगों ने अस्पताल का घेराव किया। परिजनों ने 2 जून को भी अस्पताल का घेराव किया था, जिसके बाद जिला प्रशासन ने एक कमेटी गठित की थी जो एक महीने में अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। इसके बाद 11 जुलाई को फिर से किसान नेता और पीड़ित पक्ष अस्पताल पहुंचेंगे और रिपोर्ट की समीक्षा करेंगे।

10 जुलाई तक का दिया अल्टीमेटम
10 जुलाई तक का दिया अल्टीमेटम
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सीएमओ भी पहुंचे 

घेराव के दौरान मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. आशुतोष मोहन भी पहुंचे और उन्होंने लोगों को समझाने का प्रयास किया। स्थिति को संभालने के लिए एसीपी के नेतृत्व में भारी पुलिस फोर्स मौजूद थी। अस्पताल प्रबंधन ने अपने स्पष्टीकरण में बताया कि उन्होंने मरीज की जान बचाने के लिए जितना संभव था उतना किया, लेकिन परिजन इससे संतुष्ट नहीं हुए। परिजनों की मांग है कि उन्हें इंसाफ मिलना चाहिए और दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। इस घटना ने अस्पतालों में इलाज की गुणवत्ता और मरीजों के अधिकारों के मुद्दे को फिर से उठाया है। यह घटना स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की आवश्यकता को भी उजागर करती है।

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 10 जुलाई का इंतजार

अब देखना यह है कि जिला प्रशासन की कमेटी की रिपोर्ट क्या कहती है और आगे क्या कार्रवाई की जाती है। परिजनों को उम्मीद है कि उन्हें इंसाफ मिलेगा और दोषी लोगों को सजा मिलेगी। इस घटना ने पूरे क्षेत्र में आक्रोश और दुख की लहर फैला दी है।हमें उम्मीद करनी चाहिए कि इस घटना से सीख लेते हुए स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार किया जाएगा और मरीजों के अधिकारों की रक्षा की जाएगी। साथ ही, दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई करके परिजनों को इंसाफ दिलाने का प्रयास किया जाएगा।

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