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भागदौड़ भरी ज़िंदगी में सबसे बड़ी चिंता हमारे दिल की सेहत को लेकर होती है। बदलती दिनचर्या, गलत खानपान और तनाव की वजह से लोग कम उम्र में ही हाई कोलेस्ट्रॉल, ब्लड प्रेशर और हार्ट डिजीज़ जैसी गंभीर बीमारियों के शिकार हो रहे हैं। डॉक्टर हमेशा यही सलाह देते हैं कि अगर आप अपनी डाइट में छोटे-छोटे बदलाव करेंगे तो दिल की बीमारियों का खतरा काफी हद तक कम किया जा सकता है। इन्हीं बदलावों में से एक सबसे आसान और असरदार उपाय है, प्रतिदिन एक मुट्ठी भर मेवा खाना। खासकर अखरोट जो सेहत के लिए किसी सुपरफूड से कम नहीं माने जाते। सेहत की दृष्टि से किसी भी ड्राइफ्रूड को खाने का तरीका भी जरुरी है।
अखरोट सेवन का सही तरीका
अखरोट का सेवन करने का सबसे अच्छा तरीका है इसे रातभर पानी में भिगोकर सुबह खाली पेट खाना। ऐसा करने से अखरोट के पोषक तत्वों का अवशोषण शरीर में बहुत अच्छे से होता है और यह पचाने में भी आसान होता है। रात में 2-4 अखरोट को पानी में भिगोकर रख दें, सुबह उनका छिलका उतारकर खा लें। भीगे हुए अखरोट की तासीर ठंडी होती है, जिससे वे गर्मियों में भी उपयुक्त रहते हैं। अगर भिगोना संभव ना हो तो हल्का सा भूनकर या स्मूदी, दूध, दलिया आदि के साथ मिला सकते हैं, लेकिन ज़्यादा तेल या नमक न डालें।
खाने का सही समय और मात्रा
सुबह खाली पेट अखरोट खाना सबसे अच्छा रहता है, इससे पाचन व शरीर को दोगुना फायदा होता है। सामान्यत: 2-4 अखरोट प्रतिदिन खा सकते हैं, बच्चों के लिए 1 अखरोट पर्याप्त है। अत्यधिक मात्रा में अखरोट खाने से पाचन गड़बड़ी या अन्य समस्या हो सकती है।
क्यों भिगोकर खाना चाहिए?
अखरोट में मौजूद फाइटिक एसिड (phytic acid) जैसे तत्व भिगोने से निष्क्रिय हो जाते हैं, जिससे आयरन व जिंक का अवशोषण शरीर में बेहतर होता है। भिगोने से अखरोट मुलायम हो जाता है और पचाने में आसानी होती है। भीगे हुए अखरोट की सेवन से त्वचा, दिमाग, और दिल को विशेष लाभ मिलता है। अखरोट को हमेशा एयरटाइट कंटेनर में व फ्रिज में स्टोर करें। फ्लेवर्ड अखरोट या अधिक ऑयली/नमकीन अखरोट खाने से बचें। दूध में 2-3 घंटे तक भिगोकर या उबालकर भी खा सकते हैं।
क्यों है खास अखरोट ?
अखरोट को अक्सर "ब्रेन फूड" कहा जाता है क्योंकि इसका आकार दिमाग से मिलता-जुलता है। लेकिन केवल दिमाग ही नहीं, यह दिल की सेहत के लिए भी वरदान है। इसमें ओमेगा-3 फैटी एसिड, फाइबर, एंटीऑक्सीडेंट और कई तरह के विटामिन्स पाए जाते हैं, जो कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने और दिल की धड़कनों को नियमित रखने में मदद करते हैं। रिसर्च में भी पाया गया है कि जो लोग नियमित रूप से अखरोट का सेवन करते हैं, उनमें हार्ट डिजीज का खतरा कम हो जाता है और उनकी जीवन प्रत्याशा (Longevity) बढ़ जाती है।
कोलेस्ट्रॉल कम करने में मददगार: कोलेस्ट्रॉल दो तरह का होता है, एलडीएल (खराब कोलेस्ट्रॉल) और एचडीएल (अच्छा कोलेस्ट्रॉल)। अखरोट का सेवन खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करने और अच्छे कोलेस्ट्रॉल को बढ़ाने में मदद करता है। जब खराब कोलेस्ट्रॉल कम होता है तो धमनियों में चर्बी जमने की समस्या नहीं होती, जिससे ब्लड फ्लो सही रहता है और हार्ट अटैक का खतरा घटता है।
हार्ट डिजीज से सुरक्षा: ओमेगा-3 फैटी एसिड की मौजूदगी अखरोट को खास बनाती है। यह फैटी एसिड दिल की धड़कन को सामान्य रखने में मदद करता है और अचानक कार्डियक अरेस्ट का रिस्क कम करता है। साथ ही, इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स शरीर में सूजन (Inflammation) को कम करते हैं, जिससे दिल और रक्त वाहिकाएं स्वस्थ रहती हैं। यही वजह है कि अखरोट को हार्ट-फ्रेंडली नट्स कहा जाता है।
लंबी उम्र का राज: लंबी उम्र जीने के लिए सबसे ज़रूरी है शरीर को फिट और अंगों को स्वस्थ रखना। अखरोट नियमित रूप से खाने से शरीर को पर्याप्त पोषण मिलता है, जिससे न सिर्फ दिल बल्कि दिमाग और हड्डियां भी मजबूत रहती हैं। इसमें मौजूद प्रोटीन और फाइबर शरीर को लंबे समय तक ऊर्जावान बनाए रखते हैं और मोटापा बढ़ने से रोकते हैं। यही कारण है कि कई शोधों में अखरोट को ‘लॉन्गेविटी फूड’ का दर्जा दिया गया है। Walnut benefits | HEALTH | get healthy | get healthy body | foods for healthy hairs