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Sheikh Hasina का बेटे के अपहरण और हत्या की साजिश के आरोप से बांग्लादेशी अखबार के संपादक बरी

Sheikh Hasina बांग्लादेश की एक कोर्ट ने अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना के बेटे सजीब वाजेद जॉय की 2015 में अमेरिका में अपहरण और हत्या की असफल साजिश से संबंधित मामले में सोमवार को एक प्रमुख समाचार पत्र के संपादक को बरी कर दिया।

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Kamal K Singh
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नई दिल्ली,वाईबीएन नेटवर्क। 

बांग्लादेश की एक कोर्ट ने अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना के बेटे सजीब वाजेद जॉय की 2015 में अमेरिका में अपहरण और हत्या की असफल साजिश से संबंधित मामले में सोमवार को एक प्रमुख समाचार पत्र के संपादक को बरी कर दिया। डेली स्टार समाचार पत्र की खबर के अनुसार, ढाका के चौथे अतिरिक्त मेट्रोपोलिटन सत्र न्यायाधीश तारिक अजीज ने यह फैसला सुनाते हुए महमूदुर रहमान की मामले में दोषसिद्धि और सजा के खिलाफ अपील को स्वीकार कर लिया। न्यायाधीश ने कहा कि अपीलकर्ता के खिलाफ लगाए गए आरोप झूठे और मनगढ़ंत पाए गए। शेख हसीना इनिदनों भारत में निर्वासन का जीवन व्यतीत कर रही हैं। 

न्यायाधीश ने क्या कहा?

न्यायाधीश ने अपने आदेश में कहा कि निचली अदालत द्वारा उसे दी गई सजा को रद्द कर अपीलकर्ता को बरी किया जाता है। फैसले के बाद दैनिक अमर देश के संपादक महमूदुर ने पत्रकारों से कहा कि उन्हें अंततः अदालत से न्याय मिला है और वह फासीवाद के खिलाफ अपनी लड़ाई जारी रखेंगे, जो देश का संघर्ष भी है। पिछले साल 17 अगस्त को ढाका की एक अदालत ने उनकी अनुपस्थिति में उन्हें सात साल की कैद की सजा सुनाई थी। वरिष्ठ पत्रकार शफीक रहमान, जातीयतावादी सामाजिक सांस्कृतिक संगठन के उपाध्यक्ष मोहम्मद उल्लाह मामुन, उनके बेटे रिजवी अहमद सीजर और अमेरिका स्थित व्यवसायी मिजानुर रहमान भुइयां को भी इसी मामले में उनकी गैरमौजूदगी में सात साल जेल की सजा सुनाई गई थी। 

महमूदुर पिछले साल 27 सितंबर को साढ़े पांच साल का निर्वासन बिताने के बाद बांग्लादेश लौटे थे। दो दिन बाद उन्होंने ढाका में मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट की अदालत के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया और उन्हें जेल भेज दिया गया। मामला तीन अगस्त 2015 को दर्ज किया गया और उसके बाद महमूदुर और शफीक रहमान को गिरफ्तार कर लिया गया। अखबार ने कहा कि शिकायत के अनुसार, मामून और पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया की बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने ब्रिटेन, अमेरिका और बांग्लादेश के विभिन्न स्थानों पर जॉय के अपहरण और हत्या की साजिश रचने के लिए कथित तौर पर बैठक की थी। जॉय उस समय शेख हसीना के सलाहकार थे।

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