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BrahMos Missile : लखनऊ में आज से बनेगी ब्रह्मोस मिसाइल, राजनाथ सिंह, CM Yogi करेंगे यूनिट का उद्घाटन, पाकिस्तान की हालत खराब

300 करोड़ रुपये की लागत से बनी इस अत्याधुनिक उत्पादन इकाई के लिए राज्य सरकार ने 80 हेक्टेयर भूमि नि:शुल्क प्रदान की थी। ब्रह्मोस मिसाइल भारत और रूस के संयुक्त उद्यम का परिणाम है। 

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Deepak Yadav
BrahMos Missile lucknow

लखनऊ में आज से बनेकी ब्रह्मोस मिसाइल Photograph: (Social Media)

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लखनऊ वाईबीएन संवाददाता। लखनऊ रविवार यानी आज रक्षा क्षेत्र के इतिहास में एक नया अध्याय जोड़ने जा रहा है। उत्तर प्रदेश डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर के लखनऊ नोड पर विश्व की सबसे घातक सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल 'ब्रह्मोस' की निर्माण आज से राजधानी में शुरू हो जाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में यह ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल होगी। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह डिजिटल माध्यम से दिल्ली से इस समारोह में शामिल होकर प्रोडक्शन यूनिट और टाइटेनियम एंड सुपर एलायस मैटेरियल्स प्लांट का वर्चुअल उद्घाटन करेंगे।

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साढ़े तीन साल में तैयार हुई यूनिट

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ड्रीम प्रोजेक्ट 'उत्तर प्रदेश डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर' के लखनऊ नोड पर ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल की उत्पादन इकाई अब पूरी तरह तैयार है। करीब साढ़े तीन साल में तैयार इस यूनिट की आधारशिला 26 दिसम्बर 2021 को रखी गई थी। 300 करोड़ रुपये की लागत से बनी इस अत्याधुनिक उत्पादन इकाई के लिए राज्य सरकार ने 80 हेक्टेयर भूमि नि:शुल्क प्रदान की थी। ब्रह्मोस मिसाइल भारत और रूस के संयुक्त उद्यम का परिणाम है। 

पीएम मोदी ने 2018 में की थी डिफेंस कॉरिडोर की घोषणा

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इस यूनिट के लोकार्पण के साथ ही डिफेंस टेस्टिंग इंफ्रास्ट्रक्चर सिस्टम (DT IS) का शिलान्यास भी किया जाएगा, जो रक्षा उपकरणों के परीक्षण और सर्टिफिकेशन में सहायता करेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2018 में डिफेंस कॉरिडोर की घोषणा की थी। इस कारिडोर के छह नोड्स लखनऊ, कानपुर, अलीगढ़, आगरा, झांसी और चित्रकूट में रक्षा उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए व्यापक निवेश हो रहा है। 

टाइटेनियम एंड सुपर एलॉय मटेरियल्स प्लांट का भी उद्घाटन

इस अवसर पर टाइटेनियम एंड सुपर एलॉय मटेरियल्स प्लांट (स्ट्रैटेजिक मटेरियल्स टेक्नोलॉजी कॉम्प्लेक्स) का भी उद्घाटन किया जाएगा। यह अत्याधुनिक प्लांट एयरोस्पेस और रक्षा क्षेत्र के लिए उच्च गुणवत्ता वाली सामग्रियों का उत्पादन करेगा, जिनका उपयोग चंद्रयान मिशन और अत्याधुनिक लड़ाकू विमानों में किया जाएगा। 

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देश का दूसरा डिफेंस कॉरिडोर यूपी में

इसके साथ ही ब्रह्मोस एयरोस्पेस की इंटीग्रेशन एवं टेस्टिंग फैसिलिटी परियोजना का लोकार्पण भी होगा। जो मिसाइलों के परीक्षण और एकीकरण की दृष्टि से एक अहम कड़ी साबित होगी। उत्तर प्रदेश देश का दूसरा राज्य है, जहां डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर की स्थापना की गई है। यूपी से पहले तमिलनाडु में वर्ष 2019 में पहला डिफेंस कॉरिडोर स्थापित किया जा चुका है।

खास है ब्रह्मोस

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  • 400 किलोमीटर तक मारक क्षमता : दुश्मन के ठिकानों को दूर से ही नष्ट करने में सक्षम।
  • 2.8 मैक की रफ्तार : ध्वनि की गति से करीब तीन गुना तेज। बेहद कम समय में लक्ष्य तक पहुंचती है।
  • त्रि-आयामी लांच क्षमता : यह मिसाइल जमीन, हवा और समुद्र से लॉन्च की जा सकती है।
  • ‘फायर एंड फॉरगेट’ तकनीक : एक बार लांच होने पर खुद टारगेट खोजती है और दुश्मन के रडार से बचकर सटीक वार करती है।
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