लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बाद मंगलवार को पहली बार रक्षामंत्री राजनाथ सिंह लखनऊ पहुंचे। उन्होंने डॉक्टर केएनएस मेमोरियल अस्पताल के रजत जयंती समारोह में शिरकत की। इस दौरान रक्षामंत्री ने स्वास्थ्य और सुरक्षा जिक्र करते हुए कहा कि डॉक्टर मरीजों का इलाज करते हैं और भारतीय सेना आतंकवादियों की सर्जरी की। सेना ने पहलगाम में हुए आतंकी हमले से बाद 'ऑपरेशन सिंदूर' के जरिए पाकिस्तान में घुसकर आतंकवादियों को ठिकानों को तबाह कर दिया। उन्होंने कहा कि हमारी सेना ने कुशल सर्जन की तरह काम किया और सुनिश्चित किया कि आम नागरिकों को नुकसान न पहुंचे।
'टेकन-फॉर-ग्रांटेड' रवैए से बढ़ीं बीमारियां
रक्षा मंत्री ने कहा कि भारत के लोग यह मानते हैं कि स्वास्थ्य से बड़ा कुछ नहीं है, लेकिन आज की जीवनशैली में लोग स्वास्थ्य को 'टेकन फॉर ग्रांटेड' लेने लगे हैं। जिसका नतीजा है कि देश में बीमारियों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। रक्षा मंत्री ने बताया कि भारत में 10 करोड़ लोग मधुमेय से पीड़ित हैं। जबकि 14 करोड़ लोग प्री-डायबिटिक हैं। उन्होंने कहा कि इन बीमारियों के पीछे की वजहों पर मंथन की जरूरत है।
देश का असली नायक डॉक्टर
राजनाथ सिंह ने डॉक्टरों को देश का असली नायक बताते हुए कहा कि कोरोना महामारी के दौरान भी उन्होंने अपनी जान की परवाह किए बिना मरीजों की सेवा की। पूरा देश डॉक्टरों का सदैव ऋणी रहेगा। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में स्वास्थ्य क्षेत्र को नंबर वन बताते हुए कहा कि आयुष्मान भारत योजना से अब तक 8 करोड़ से अधिक लोग लाभान्वित हो चुके हैं। उन्होंने बताया कि 19 लाख लोग ऐसे थे जो इस योजना के बिना कभी इलाज नहीं करा पाते।
इंसेफलाइटिस से मौतें लगभग शून्य
यूपी की स्वास्थ्य व्यवस्था में हुए सुधार पर राजनाथ सिंह ने कहा कि पूर्वांचल में स्वास्थ्य सेवाएं बेहतर हुई हैं। उन्होंने याद दिलाया कि 2017 से पहले पूर्वांचल में जापानी इंसेफलाइटिस से बड़ी संख्या में बच्चों की मौत होती थी। जिसे कई सरकारों ने नियति का खेल मान लिया था। लेकिन डबल इंजन की सरकार बनने के बाद पूरी तस्वीर बदल गई और अब पूरे प्रदेश में इस बीमारी से मरने वाले बच्चों की संख्या ना के बराबर हो चुकी है।
सेवा भाव में सैनिक और डॉक्टर समान
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पाकिस्तान पर भी निशाना साधते हुए कहा कि आतंवादियों को पनाह देने वाला देश जल्दी मानता नहीं है। लेकिन देश की सेना ने पाकिस्तान की फौज को घुटनों पर ला खड़ा किया। उन्होंने कहा कि भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने का लक्ष्य रखा गया है। जिसमें स्वास्थ्य, सुरक्षा और सेवा तीनों महत्वपूर्ण स्तंभ हैं। उन्होंने कहा कि सैनिक और डॉक्टर दोनों के काम में अद्भुत समानता है। दोनों ही आम आदमी के जीवन की रक्षा करते हैं।