ग्रेटर नोएडा , वाईबीएन संवाददाता। सेक्टर ईटा एक में संचालित महर्षि पाणिनि वेद-वेदांग विद्यापीठ गुरुकुल के निर्माणाधीन भवन सेक्टर-36 में संत समागम का आयोजन किया गया। इस आयोजन में भारत के मूर्धन्य विद्वानों के साथ अनेक संत महापुरुष पधारे। प्रवचन के माध्यम से आशीर्वाद प्रदान करते हुए यदि परंपरा के परंपरागत परम पूज्य संत स्वामी ब्रह्मानंद सरस्वती महाराज ने भारतीय शास्त्रों को ज्ञान का खजाना बताते हुए कहा कि जन्म से लेकर मृत्यु पर्यन्त संस्कारों से सुसज्जित हमारी परंपरा ही हमारी संस्कृति की रीढ़ की हड्डी है।
/young-bharat-news/media/media_files/2025/04/18/3kkVWYkFuYHefQlBdTjJ.jpg)
आत्मज्ञान ही मोक्ष का साधन
उन्होंने संबोधन करते हुए कहा कि भारतीय मनीषियों की अनेक वर्षों की तपस्या और ज्ञान के प्रति श्रद्धा ने हमें यह भक्ति और ज्ञान रूपी जो साधन दिए हैं, वह आत्मज्ञान करने में सहायक है तथा इन्हीं से मुक्ति संभव है। समागम में पधारे व्याकरण के मूर्धन्य विद्वान प्रो. दिवाकर वशिष्ठ ने महाराज की आशीर्वचनों में सहमति प्रदान करते हुए कहा कि आत्मज्ञान ही मोक्ष का साधन है।
ग्रेटर नोएडा की भूमि धन्य
शास्त्र ज्ञान के माध्यम से ही आत्मज्ञान संभव है गीता आदि का माध्यम से हम सब जानते हैं। इस अवसर पर गुरुकुल संस्थापक आचार्य रविकांत दीक्षित ने समागम में पधारे सभी संत महापुरुषों एवं विद्वानों का अतिथि सत्कार करते हुए कहा कि ग्रेटर नोएडा की भूमि धन्य है कि आप जैसे महापुरुषों के चरण कमल गुरुकुल प्रांगण में पड़े। भारतीय ऋषि मुनियों के रूप में आप सभी के दर्शन हम सभी के कल्याण के लिए ही संभव हुए हैं।
भवन निर्माण की रूपरेखा
गुरुकुल के बारे में विस्तार पूर्वक बताते हुए कहा कि यह भवन निर्माण की रूपरेखा आप सभी के आशीर्वाद से पूर्ण होने की ओर है। आप सभी से यथायोग्य सहयोग अपेक्षित है जिससे गुरुकुल का संचालन इस नए भवन में प्रारंभ किया जा सके। इस समागम में श्याम शंकर शुक्ला सलाहकार (भारतीय चुनाव आयोग) सपरिवार एवं गुरुकुल परिवार के सदस्यों के साथ बटुक भी उपस्थित रहे।