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बिहार में मतदाता सत्यापन: 1.12 करोड़ गणना फॉर्म जमा, वैशाली और पटना अव्वल
बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण की प्रक्रिया तेजी से आगे बढ़ रही है। चुनाव आयोग के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, अब तक 1.12 करोड़ गणना फॉर्म जमा किए जा चुके हैं, जो राज्य के कुल मतदाताओं का 14.18% है। इसके अलावा, 93.57% मतदाताओं तक फॉर्म वितरित किए जा चुके हैं।
टॉप पर वैशाली जिला
बूथ लेवल अधिकारियों (BLOs) और मतदाताओं द्वारा गणना फॉर्म जमा कराने में वैशाली शीर्ष पर है, जहां 1,78,474 फॉर्म प्राप्त हुए हैं। इसके बाद पटना (1,69,846), पूर्वी चंपारण (1,46,007), नालंदा (1,37,384), और समस्तीपुर (1,05,183) का स्थान है। वहीं, लखीसराय सबसे पीछे है, जहां अब तक केवल 4,674 फॉर्म ही जमा हुए हैं।
ऑनलाइन vs ऑफलाइन सबमिशन
23,14,602 फॉर्म BLOs द्वारा ऑफलाइन जमा किए गए।
75,789 फॉर्म मतदाताओं ने ऑनलाइन भरे।
चुनाव आयोग का लक्ष्य है कि कोई भी पात्र मतदाता सूची से छूटे नहीं।
विधानसभा चुनाव से पहले यह प्रक्रिया राजनीतिक बहस का विषय बन गई है। तेजस्वी यादव और इंडिया ब्लॉक के नेताओं ने चुनाव आयोग पर बीजेपी के प्रभाव में काम करने का आरोप लगाया है। वहीं, पप्पू यादव ने इसका विरोध करते हुए 9 जुलाई को प्रदर्शन की घोषणा की है।
चुनाव आयोग ने सभी जिलों में BLOs, पर्यवेक्षकों और राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों के साथ मिलकर काम करने का निर्देश दिया है। इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि 2025 के चुनावों से पहले मतदाता सूची पूरी तरह सटीक और अद्यतन हो।