बिहार की सियासत में चुनावी सरगर्मी के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जदयू के वरिष्ठ नेताओं की एक आपात बैठक बुलाई, जिससे राज्य की राजनीति में हलचल मच गई है। बैठक रविवार को पटना स्थित उनके एक अणे मार्ग सरकारी आवास पर आयोजित हुई, जिसमें पार्टी के प्रमुख चेहरों की उपस्थिति रही।
सूत्रों के मुताबिक, यह बैठक सिर्फ सामान्य चर्चा नहीं थी, बल्कि इसमें संगठनात्मक ढांचे में संभावित बदलाव और आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर रणनीतिक मंथन किया गया। शामिल नेताओं में वरिष्ठ मंत्री अशोक चौधरी, संजय झा, केंद्रीय मंत्री ललन सिंह, विधायक खालिद अनवर, जमा खान, श्रवण कुमार और लेसी सिंह जैसे कई नामी चेहरे शामिल थे।
खबरें हैं कि बैठक में बोर्ड-निगमों में नई नियुक्तियों और जिम्मेदारियों के बंटवारे पर भी गहन विचार-विमर्श हुआ। नीतीश कुमार द्वारा लिए जा रहे इन कदमों को पार्टी के भीतर नए संतुलन और नेतृत्व के पुनर्गठन के संकेत के रूप में देखा जा रहा है।
यह बैठक ऐसे समय में हो रही है जब बिहार विधानसभा चुनावों में अब कुछ ही महीने बचे हैं। बीजेपी पहले ही दावा कर चुकी है कि एनडीए इस बार 220 से ज्यादा सीटें जीतेगा। ऐसे में नीतीश कुमार की सक्रियता यह दर्शा रही है कि जदयू चुनावी मोर्चे पर कोई ढील नहीं देना चाहती और हर स्तर पर तैयारियों को मजबूत करना चाहती है।