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नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क।दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) छात्र संघ (डूसू) चुनाव लड़ने वाले विद्यार्थियों को दीवार या अन्य सतहों को गंदा करने के खिलाफ एक लाख रुपये का बॉण्ड जमा करने की आवश्यकता नहीं होगी, लेकिन उन्हें एक गारंटर पेश करना होगा जो उनके लिए जमानत दे सके और उल्लंघन के मामले में जुर्माना अदा कर सके।
चुनाव अधिकारी ने अभिभावकों की जमानत मांगी
दिल्ली विश्वविद्यालय के मुख्य चुनाव अधिकारी प्रोफेसर राज किशोर शर्मा ने कहा कि इस प्रावधान को गलत रूप में लिया जा रहा है। शर्मा ने कहा, अदालत में विद्यार्थियों ने खुद कहा कि वे एक लाख रुपये नहीं दे सकते, लेकिन वे हलफनामा देंगे कि अगर वे विरूपण में शामिल होते हैं, तो उन पर जुर्माना लगाया जा सकता है। अब, अगर हलफनामा है, तो किसी न किसी तरह की जमानत तो होनी ही चाहिए, वरना जुर्माना कैसे वसूला जा सकता है? इसीलिए हमने अभिभावक की जमानत मांगी है और वह कोई भी हो सकता है, चाहे वह उनके दोस्त हों या सहपाठी।
चुनाव लिंगदोह कमेटी की सिफारिश के आधार पर होगा
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि जुर्माना आनुपातिक होगा, न कि पूरे एक लाख रुपये। मुख्य चुनाव अधिकारी ने कहा, उल्लंघन के आधार पर, यह 10,000 रुपये, 20,000 रुपये या उससे कम भी हो सकता है। शर्मा ने कहा कि इस साल का दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ चुनाव हरित और स्वच्छहोगा और लिंगदोह समिति की सिफारिशों के अनुसार ही कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों और संगठनों को दिशानिर्देशों से पहले ही अवगत कराया जा चुका है। विरूपण पर रोक लगाने के लिए, ईसी ने एक नया फ़ॉर्म शुरू किया है जहां विद्यार्थी और आम लोग शिकायत दर्ज करा सकते हैं। उसकी समीक्षा एक उच्च-स्तरीय समिति द्वारा की जाएगी।
इस बीच, ऑल इंडिया स्टूडेंट्स एसोसिएशन (आइसा) ने माता-पिता की जमानत संबंधी शर्त के खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया है और इसे विद्यार्थियों की स्वायत्तता पर हमला बताया है। शैक्षणिक सत्र 2025-26 के लिए डूसू चुनाव 18 सितंबर को होंगे और मतगणना अगले दिन होगी। DUSU elections 2025 | Delhi University student elections