नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क । यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 'अग्निवीरों' के लिए एक ऐतिहासिक फैसला लेते हुए कहा है कि अब राज्य की गृह विभाग से जुड़ी सरकारी नौकरियों में पूर्व अग्निवीरों को 20 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा। इस फैसले को लेकर 6 जून 2025 शुक्रवार को आदेश भी जारी कर दिया गया है, जिससे हजारों युवाओं के लिए भविष्य के दरवाज़े खुल गए हैं। यह कदम न केवल सेना में सेवा देने वाले युवाओं को सम्मान देता है, बल्कि देशसेवा के बाद उनके लिए एक स्थायी जीवन सुनिश्चित करने की दिशा में एक ठोस पहल भी है।
देश की सेवा करने वाले अग्निवीरों के लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने एक बड़ा ऐलान किया है। अब यूपी में गृह विभाग के अंतर्गत आने वाली सरकारी नौकरियों में पूर्व अग्निवीरों को 20 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा। योगी सरकार के इस फैसले को सरकारी आदेश (GO) के ज़रिए जारी किया गया है और इसे तत्काल प्रभाव से लागू किया गया है।
क्या है अग्निवीर योजना?
‘अग्निपथ योजना’ के तहत युवाओं को चार साल के लिए भारतीय सशस्त्र बलों में सेवा करने का मौका मिलता है। इन चार वर्षों के बाद कुछ प्रतिशत को स्थायी नियुक्ति मिलती है, लेकिन अधिकांश अग्निवीरों को सेवा पूरी कर सिविल जीवन में लौटना होता है। ऐसे में उनके पुनर्वास और रोजगार को लेकर लंबे समय से सवाल उठ रहे थे।
गृह विभाग ने अब स्पष्ट कर दिया है कि राज्य में कांस्टेबल, पीएसी जवान, जेल प्रहरी समेत गृह विभाग से जुड़ी भर्तियों में पूर्व अग्निवीरों के लिए 20% सीटें आरक्षित रहेंगी। इसका सीधा लाभ उन्हें मिलेगा जिन्होंने अग्निवीर के रूप में देश की सेवा की है।
यह फैसला इसलिए अहम है क्योंकि इससे अग्निवीरों को एक निश्चित करियर का विकल्प मिलेगा और सेवा के बाद उनके सामने बेरोजगारी की चुनौती नहीं खड़ी होगी।
युवाओं में उत्साह, सशस्त्र बलों में भरोसा
इस फैसले से यूपी के हजारों युवा जो अग्निवीर बनने की तैयारी कर रहे हैं, उनके बीच जबरदस्त उत्साह देखा जा रहा है। विशेषज्ञ मानते हैं कि इससे रक्षा बलों में युवाओं की रुचि बढ़ेगी और अग्निवीर बनने के लिए आकर्षण भी मजबूत होगा।
आरक्षण की यह घोषणा यह भी सुनिश्चित करती है कि देशसेवा सिर्फ त्याग नहीं, बल्कि स्थायी सम्मान का रास्ता भी है।
गौरतलब है कि पहले ही केंद्र सरकार और कुछ राज्य सरकारों ने अग्निवीरों के पुनर्वास के लिए पुलिस और अन्य विभागों में प्राथमिकता देने की बात कही थी। अब यूपी सरकार के इस कदम के बाद संभावना है कि अन्य राज्य भी इसी मॉडल को अपनाएं।
युवाओं के लिए क्या बदलेगा?
- भर्ती परीक्षाओं में कट-ऑफ कम हो सकती है।
- शारीरिक और मानसिक रूप से फिट पूर्व अग्निवीरों को चयन में वरीयता मिलेगी।
- उनका अनुभव विभागीय कार्यों में भी मदद करेगा।
उत्तर प्रदेश सरकार का यह फैसला देशभक्त युवाओं के आत्मविश्वास को नई उड़ान देगा। अग्निवीरों के लिए 20 प्रतिशत आरक्षण सिर्फ एक सरकारी निर्णय नहीं, बल्कि देशसेवा की इज़्ज़त को संस्थागत स्वरूप देने का प्रतीक है।
अग्निवीरों को नौकरी में आरक्षण मिलना चाहिए या नहीं? अपने विचार कमेंट में जरूर साझा करें।
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