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"कांवड़ मेला 2025 : श्रद्धालुओं की आस्था पर CM धामी का 'ज़ीरो टॉलरेंस', सुरक्षा में कोई समझौता नहीं" | यंग भारत न्यूज Photograph: (Google)
नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क ।उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आगामी कांवड़ मेले की तैयारियों की समीक्षा की है, जिसमें श्रद्धालुओं की सुरक्षा पर विशेष जोर दिया गया। सरकार भोजन, शौचालय, और आपातकालीन सेवाओं के लिए पुख्ता इंतजाम कर रही है। NDRF और SDRF की टीमें ड्रोन से निगरानी करेंगी, ताकि हर कांवड़ यात्री सुरक्षित रहे।
यह जानकारी आज गुरूवार 3 जुलाई 2025 को एक न्यूज एजेंसी ने अपने सोशल मीडिया साइट्स पर पोस्ट की है। पोस्ट में जारी वीडियो में उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा है कि सरकारी अधिकारी कांवड़ मेले की तैयारियों में पूरी तरह से जुटे हुए हैं। भोजन उपलब्ध कराने, शौचालयों की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने के प्रावधानों पर विस्तृत चर्चा के लिए बैठकें चल रही हैं। सरकार का ध्यान कांवड़ यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने पर है। हम यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि एनडीआरएफ और एसडीआरएफ पूरी तरह से तैयार रहें और ड्रोन निगरानी के माध्यम से नदी तटों की निगरानी करें। सीएम धामी ने कांवड़ यात्रियों से सभी नियमों और विनियमों का पालन करने की भी अपील की।
हर साल सावन महीने में होती है कांवड़ यात्रा
कांवड़ यात्रा, जिसे 'कांवड़ मेला' भी कहा जाता है, लाखों शिव भक्तों की आस्था का प्रतीक है। हर साल सावन के महीने में लाखों श्रद्धालु हरिद्वार और अन्य पवित्र स्थलों से गंगाजल लेकर अपने घरों की ओर पैदल निकलते हैं। यह यात्रा न केवल धार्मिक महत्व रखती है, बल्कि उत्तराखंड और आसपास के राज्यों की अर्थव्यवस्था के लिए भी एक महत्वपूर्ण अवसर है। लेकिन इसी के साथ, इतनी बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं के आवागमन से सुरक्षा और व्यवस्था एक बड़ी चुनौती बन जाती है। इस साल भी, कांवड़ मेला 2024 के लिए तैयारियां ज़ोरों पर हैं।
धामी सरकार की प्राथमिकता: कांवड़ यात्रियों की सुरक्षा
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने हाल ही में कांवड़ मेले की तैयारियों को लेकर एक उच्च-स्तरीय बैठक की। इस बैठक में अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए गए कि श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सुविधाओं में कोई कमी नहीं रहनी चाहिए। सीएम धामी ने जोर देकर कहा कि उनकी सरकार का मुख्य ध्यान कांवड़ यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने पर है। यह एक ऐसा पहलू है जिस पर पिछले कुछ वर्षों में विशेष ध्यान दिया जा रहा है।
ये हैं उत्तराखंड सरकार के मुख्य फोकस बिंदु
भोजन और शौचालय की व्यवस्था: लाखों श्रद्धालुओं के लिए स्वच्छ भोजन और पर्याप्त शौचालयों की उपलब्धता सुनिश्चित करना एक बड़ी चुनौती है। सरकार इस पर विशेष ध्यान दे रही है।
आपातकालीन सेवाएं: किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए NDRF (राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल) और SDRF (राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल) को पूरी तरह तैयार रहने के निर्देश दिए गए हैं।
ड्रोन से निगरानी: नदियों के किनारे और भीड़भाड़ वाले इलाकों में ड्रोन से निगरानी की जाएगी, ताकि किसी भी अप्रिय घटना को रोका जा सके। यह तकनीक सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
नियमों का पालन: सीएम धामी ने कांवड़ यात्रियों से भी अपील की है कि वे सभी नियमों और विनियमों का पालन करें ताकि यात्रा सुचारू रूप से संपन्न हो सके।
VIDEO | Haridwar : Uttarakhand Chief Minister Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami ) participated in the review meeting for the upcoming Kanwar Mela. He says, “The authorities and the government officials are fully involved in the preparations for the Kanwar Mela. There are… pic.twitter.com/WR8Gk15B55
— Press Trust of India (@PTI_News) July 3, 2025
चुनौतियां और समाधान: 'ज़ीरो टॉलरेंस' की नीति
कांवड़ मेले के दौरान भीड़ नियंत्रण, यातायात प्रबंधन, और स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता जैसी कई चुनौतियां सामने आती हैं। उत्तराखंड सरकार इन चुनौतियों का सामना करने के लिए 'ज़ीरो टॉलरेंस' की नीति अपना रही है। इसका मतलब है कि सुरक्षा और व्यवस्था में किसी भी तरह की ढिलाई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। पिछले वर्षों के अनुभवों से सीखते हुए, प्रशासन इस बार और अधिक सचेत है।
स्वास्थ्य सेवाएं: यात्रा मार्ग पर मोबाइल मेडिकल यूनिट और प्राथमिक उपचार केंद्र स्थापित किए जाएंगे।
यातायात प्रबंधन: यातायात को सुचारू बनाए रखने के लिए विशेष डायवर्जन और पार्किंग की व्यवस्था की जा रही है।
सामुदायिक सहयोग: स्थानीय निवासियों और स्वयंसेवी संगठनों का सहयोग भी इस मेले को सफल बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
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