नई दिल्ली, वाईबीएन नेटवर्क।
जहां एक ओर तकनीक से हमारा जीवन आसान हो रहा है वहीं दूसरी ओर इसका दुरुपयोग भी बढ़ता ही जा रहा है। आज आम आदमी से लेकर तमाम बड़ी हस्तियां तक डीपफेक का शिकार हो रही हैं। इस तकनीक से लोगों के फर्जी वीडियो बनाकर उनके फंसाया जा रहा है। डीपफेक वीडियो से ब्लैकमेलिंग की घटनाएं इन दिनों आम सी हो गई हैं। इससे महिलाओं की छवि को खासा नुकसान पहुंच रहा है। उनको बदनाम किया जा रहा है। अपराधी सोशल मीडिया से लोगों के फोटोज चुराते हैं। फिर उनसे डीपफेक फोटोज और वीडियो बनाकर लोगों को ब्लैकमेल करते हैं।
सोशल मीडिया का इस्तेमाल करें सावधानी से
लोग सोशल मीडिया पर अपने फोटोज और वीडिया तो शेयर करते ही हैं। ये अपराधी इसी का फायदा उठाकर डीपफेक बना लेते हैं। डीपफेक से बचने के लिए यूजर अपने प्लेटफॉर्म की प्राइवेसी सेटिंग को ऑन रखें जिससे सीमित लोग ही आपकी व्यक्तिगत सामग्री देख पाएंगे। यूजर किसी भी अंजान व्यक्ति के द्वारा भेजे गए किसी भी लिंक पर क्लिक ना करें। कुछ समय पहले डीपफेक का मामला तब सामने आया जब अभिनेत्री रश्मिका मंधाना से जुड़ा एक डीपफेक वीडियो वाइरल हुआ था। अभिनेत्री ने इसकी शिकायत पुलिस से भी की थी। इससे बचने के लिए यूजर अपने फोन में एंटीवाइरस सॉफ्टवेयर और साइबर सुरक्षा ऐप का इस्तेमाल कर सकते हैं। इससे कुछ हद तक ऐसी घटनाओं से बचा जा सकता है।
Deepfake को लेकर भारत में क्या है कानून
Deepfake को लेकर भारत में कानून बन चुका है। IT Act 66E और IT Act 67 के तहत अगर कोई व्यक्ति इस तरह का कंटेंट सोशल मीडिया पर शेयर करता है तो उसे जुर्माने के साथ जेल भी हो सकती है। अपराधी को 3 साल की जेल और 2 लाख रुपये तक का जुर्माना भरना पड़ सकता है और यदि कोई व्यक्ति अश्लील वीडियो और फोटोज सोशल मीडिया पर शेयर करता है तो उसे 3 साल की जेल और 5 लाख तक का जुर्माना हो सकता है।
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