नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क। नागरिक उड्डयन महानिदेशालय ने आपात स्थिति में विमान को लैंडिंग की इजाजत नहीं देने के लिए पाकिस्तान पर निशाना साधा है। इससे पाकिस्तान को एक और खौफनाक एवं अमानवीय चेहरा दुनिया के सामने आ गया है। इजाजत नहीं मिलने पर पायलट ने सूझबूझ दिखाते हुए श्रीनगर हवाई अड्डे पर आपात लैंडिंग कराई, जिससे सभी यात्री सुरक्षित रहे। यह घटना 21 मई की है, लेकिन डीजीसीए ने इसका शुक्रवार को खुलासा किया।
खराब मौसम के कारण भयंकर टर्बुलेंस का सामना करना पड़ा
उल्लेखनीय है कि 21 मई 2025 को दिल्ली से श्रीनगर जा रही इंडिगो की फ्लाइट 6E2142 को खराब मौसम के कारण भयंकर टर्बुलेंस का सामना करना पड़ा। तेज बारिश, ओलावृष्टि और बिजली गिरने से विमान का नोज कोन क्षतिग्रस्त हो गया। इस दौरान विमान में सवार 227 यात्रियों और चालक दल के बीच दहशत फैल गई। पायलट ने सूझबूझ दिखाते हुए श्रीनगर हवाई अड्डे पर आपात लैंडिंग कराई, जिससे सभी यात्री सुरक्षित रहे। नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने इस घटना की जांच शुरू की और खुलासा किया कि पायलट ने टर्बुलेंस से बचने के लिए लाहौर एयर ट्रैफिक कंट्रोल (एटीसी) से पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र में प्रवेश की अनुमति मांगी थी, लेकिन पाकिस्तान ने मानवीय आधार पर भी इसकी इजाजत नहीं दी।
भारत-पाकिस्तान संबंधों में खटास
यह घटना पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत-पाकिस्तान के बीच बढ़े तनाव के संदर्भ में हुई। हमले के बाद दोनों देशों ने एक-दूसरे के हवाई क्षेत्र को विमानों के लिए बंद कर दिया था। पाकिस्तान के इस इनकार से विमान को तय रास्ते पर ही उड़ान भरनी पड़ी, जिससे स्थिति और खतरनाक हो गई। डीजीसीए की प्रारंभिक जांच में पायलट की त्वरित निर्णय क्षमता की सराहना की गई, लेकिन पाकिस्तान के रवैये की आलोचना हुई। इंडिगो ने विमान को तकनीकी जांच के लिए अस्थायी रूप से उड़ान से हटा लिया है। यह मामला भारत-पाकिस्तान संबंधों में एक नया विवाद बन गया है।
क्या कहना है डीजीसीए का
DGCA का कहना है, इंडिगो A321 नियो विमान VT-IMD ने उड़ान 6E-2142 (दिल्ली-श्रीनगर) संचालित की। FL360 पर उड़ान भरते समय, विमान पठानकोट के पास ओलावृष्टि और गंभीर अशांति में प्रवेश कर गया। चालक दल के बयान के अनुसार, उन्होंने मार्ग पर मौसम के कारण बाईं ओर (अंतर्राष्ट्रीय सीमा) विचलन के लिए उत्तरी नियंत्रण (IAF) से अनुरोध किया, हालांकि इसे मंजूरी नहीं दी गई। बाद में चालक दल ने मौसम से बचने के लिए अपने हवाई क्षेत्र में प्रवेश करने के लिए लाहौर से संपर्क किया, लेकिन उसे भी मना कर दिया गया। चालक दल ने शुरू में लौटने का प्रयास किया लेकिन जब वे आंधी बादल के करीब थे, तो उन्होंने मौसम में घुसने का फैसला किया। इसके बाद, उन्हें ओलावृष्टि और गंभीर अशांति का सामना करना पड़ा।