नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क । भारत से तनाव के बीच पाकिस्तान में अजीबो गरीब तमाशा चल रहा है। वहां की संसद में जहां अभी भी कुछ शेर बने बोल रहे हैं तो कुछ रोते हुए देश को बचा लेने की गुहार लगा रहे हैं। इस सबके बीच भारत पाकिस्तान के बीच तनाव के नए जन्मदाता आर्मी चीफ आसिम मुनीर अपने ही देश में खलनायक बन गए हैं। भारतीय हमलों से थर्राए पाकिस्तान की मीडिया ने अब अपने ही आर्मी चीफ को देश का सत्यानाश कर देने वाला करार दिया।
लोगों के गुस्से का कारण बने आर्मी चीफ
जी हां, वो ही आसिम मुनीर, जिनके हाथ में देश के आर्मी की कमान है, वहीं मेन स्ट्रीम मीडिया, सोशल मीडिया से लेकर सियासी गलियारों तक गालियों के पात्र बन चुके हैं। पहलगाम हमले के बाद भारतीय सेना के ताबतोड़ एक्शन और "ऑपरेशन सिंदूर" ने पाकिस्तान की नींद हराम कर दी है, पर सबसे ज्यादा हड़कंप मचाया है पाकिस्तानियों की खुद अपनी सेना से बढ़ती नाराजगी ने।
Munir Out कर रहा ट्रेंड
Munir Out ट्रेंड कर रहा है, और इमरान खान के समर्थक तो खुलेआम चिल्ला रहे हैं - 'मुनीर को हटाओ, इमरान को लाओ, पाकिस्तान को बचाओ!' अब इसे विडंबना कहें या पाकिस्तान की फितरत, मगर इस देश में जब-जब हालात बिगड़े, जनता ने अपने नेताओं को नहीं, बल्कि अपने ही फौजियों को कठघरे में खड़ा कर दिया है।
कहीं फिर से बांग्लादेश न बने
अब हम बात करते हैं सबसे धमाकेदार बयान की- मौलाना फजलुर रहमान ने तो जैसे आसिम मुनीर ने खून के आंसू रुला दिए हैं! रहमान ने कहा कि मुनीर का कश्मीर और हिंदू-मुस्लिम पर दिया बयान गुलामी की सोच दर्शाता है और इससे भारत-पाक रिश्ते और बिगड़े हैं। बलूचिस्तान में हो रही सैन्य कार्रवाइयों पर उन्होंने तो यहां तक कह दिया- 'यह हालात 1971 वाले हैं, जनाब! कहीं फिर से बांग्लादेश न बन जाए!' मतलब साफ है-सेना की छवि तेजी से गिर रही है और उसका नेतृत्व सवालों के घेरे में है।
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