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भारत बनाम तुर्की-अजरबैजान: CAIT के बहिष्कार का बड़ा ऐलान

दिल्ली में व्यापारी नेताओं का एक अहम सम्मेलन हुआ, जिसकी अगुवाई भाजपा सांसद प्रवीण खंडेलवाल और अखिल भारतीय व्यापारी परिसंघ (CAIT) ने की। इस बैठक में सर्वसम्मति से तय किया गया कि भारत अब तुर्की और अजरबैजान के साथ किसी भी प्रकार का व्यापार नहीं करेगा।

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Ajit Kumar Pandey
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नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क ।दिल्ली में अखिल भारतीय व्यापारी परिसंघ (CAIT) के नेतृत्व में हुए सम्मेलन में बड़ा फैसला लिया गया- अब भारत तुर्की और अजरबैजान के साथ व्यापारिक रिश्ते खत्म करेगा। यह कदम उन दोनों देशों द्वारा पाकिस्तान का समर्थन करने के विरोध में उठाया गया है।

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तुर्की और अजरबैजान से व्यापारिक रिश्ते तोड़े, फिल्म इंडस्ट्री को भी चेतावनी

दिल्ली में व्यापारी नेताओं का एक अहम सम्मेलन हुआ, जिसकी अगुवाई भाजपा सांसद प्रवीण खंडेलवाल और अखिल भारतीय व्यापारी परिसंघ (CAIT) ने की। इस बैठक में सर्वसम्मति से तय किया गया कि भारत अब तुर्की और अजरबैजान के साथ किसी भी प्रकार का व्यापार नहीं करेगा।

कारण? दोनों देशों ने पाकिस्तान का खुलकर समर्थन किया है, जो भारत की सुरक्षा और संप्रभुता के खिलाफ सीधा हमला माना जा रहा है। इसलिए अब तुर्की और अजरबैजान से आयात-निर्यात पूरी तरह बंद किया जाएगा।

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व्यापारिक जगत के इस सख्त रुख के साथ ही एक और महत्वपूर्ण अपील की गई है- भारतीय फिल्म इंडस्ट्री और विज्ञापन जगत से कहा गया है कि वे इन देशों में न शूटिंग करें और न ही किसी ब्रांड का प्रचार करें। यदि कोई कंपनी इन देशों में शूटिंग करती है, तो उसका सामाजिक बहिष्कार किया जाएगा।

इस फैसले से न सिर्फ भारत का विदेशी व्यापार प्रभावित होगा, बल्कि कई बड़ी कंपनियों और फिल्म निर्माताओं को भी नई रणनीति बनानी पड़ेगी। यह एक भावनात्मक और राष्ट्रीय स्वाभिमान से जुड़ा निर्णय है, जिसे व्यापारियों ने एक स्वर में समर्थन दिया है।

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क्या कहता है ये फैसला भारत के आत्मनिर्भर दृष्टिकोण के बारे में?

यह कदम भारत के 'आत्मनिर्भर भारत' और 'वोकल फॉर लोकल' अभियान को भी मजबूती देता है। तुर्की और अजरबैजान के साथ व्यापार बंद करने का मतलब है- अब भारतीय बाज़ार में स्थानीय उत्पादों को और बढ़ावा मिलेगा।

📢 आपका क्या मानना है- क्या भारत को विदेश नीति में इस तरह के कड़े फैसले लेने चाहिए? अपनी राय नीचे कमेंट में जरूर बताएं और इस खबर को शेयर करें।

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