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Hridwar News: अस्पताल में जंगली हाथी का हमला: मची भगदड़, वीडियो वायरल!

हरिद्वार के जया मैक्सवेल अस्पताल में एक जंगली हाथी ने दीवार तोड़कर प्रवेश किया, जिससे मरीजों और स्टाफ में भगदड़ मच गई और अस्पताल को नुकसान हुआ। जानें फिर क्या हुआ...

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Ajit Kumar Pandey
ASPATAL ME GHUSA HATHI

HARIDWAR KE ASPATAL ME GHUSA HATHI

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हरिद्वार, वाईबीएन संवाददाता ।

उत्तराखंड में हरिद्वार जिले के जया मैक्सवेल अस्पताल में आज एक अप्रत्याशित घटना ने सबको हैरान कर दिया। सुबह के समय अचानक एक विशालकाय जंगली हाथी ने अस्पताल की दीवार तोड़कर अंदर प्रवेश किया, जिससे मरीजों और अस्पताल स्टाफ में भगदड़ मच गई।

क्या हुआ था पूरा मामला ?

सूत्रों के अनुसार, यह हाथी पास के जंगल से भटककर आबादी की तरफ आ गया था। अस्पताल के पास पहुंचते ही उसने दीवार को ध्वस्त कर दिया और अंदर घुस आया। वीडियो में देखा गया है कि हाथी ने अस्पताल के कॉरिडोर और वार्ड्स में घूमते हुए कई उपकरणों को नुकसान पहुंचाया।

मरीजों और स्टाफ में दहशत

इस घटना के वक्त अस्पताल में कई मरीज और उनके परिजन मौजूद थे। हाथी को देखते ही सभी सुरक्षित स्थानों पर भागने लगे। कुछ मरीजों ने बताया कि वे इतना डर गए थे कि उन्हें लगा जैसे उनकी जान खतरे में है।

वन विभाग की त्वरित कार्रवाई

घटना की सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची। कई घंटों की मशक्कत के बाद हाथी को नियंत्रित करके वापस जंगल की ओर भगाया गया। वन अधिकारियों का कहना है कि यह हाथी शायद पानी की तलाश में आबादी में आ गया था।

सोशल मीडिया पर वायरल हुआ वीडियो

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इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। लोग हैरान हैं कि आखिर एक विशालकाय जंगली हाथी इतनी आसानी से शहर के बीचोंबीच पहुंच कैसे गया ? कई यूजर्स ने वन विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाया है।

क्या कोई जानमाल का नुकसान हुआ ?

अस्पताल प्रशासन ने बताया कि इस घटना में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है, लेकिन अस्पताल को काफी नुकसान पहुंचा है। स्थानीय लोग अब भी सहमे हुए हैं और वन विभाग से जंगली जानवरों को रोकने के लिए बेहतर इंतजाम करने की मांग कर रहे हैं।

क्या है विशेषज्ञों की राय ?

वन्यजीव विशेषज्ञों का मानना है कि जंगलों के सिकुड़ने और इंसानी बस्तियों के विस्तार के कारण ऐसी घटनाएं बढ़ रही हैं। उनका सुझाव है कि हाथियों के मार्ग पर इलेक्ट्रिक फेंसिंग और अलर्ट सिस्टम लगाया जाना चाहिए।

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हरिद्वार की यह घटना एक बार फिर इंसान और जंगली जानवरों के बीच बढ़ते संघर्ष को उजागर करती है। अगर समय रहते ठोस कदम नहीं उठाए गए, तो भविष्य में ऐसी घटनाएं और भयावह हो सकती हैं।

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