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बरेली,वाईबीएनसंवाददाता
बरेली। उत्तराखंड के ऊधम सिंह नगर जिले के एसएसपी मणिकांत मिश्रा ने भारी संख्या में पुलिस बल के साथ स्मैक तस्करों के गढ़ माने जाने वाले बरेली के फतेहगंज पश्चिमी में छापा मारा। 70 गाड़ियों में पहुंचे करीब तीन सौ पुलिस कर्मियों ने कई इलाकों में दबिश देकर करीब डेढ़ दर्जन लोगों को हिरासत में लिया। उत्तराखंड ले जाने के बाद उनसे पूछताछ की गई। पूछताछ के बाद 15 लोगों को छोड़ दिया गया, जबकि एक व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई की गई।
फतेहगंज दबिश देने पहुंची ऊधमसिंह नगर पुलिस की टीम में कई एसपी, सीओ, महिला पुलिस शामिल होने के साथ दंगा नियंत्रण का सामान और घरों में घुसने के लिए सीढ़ियां भी थीं। उत्तराखंड पुलिस ने करीब 48 घरों में दबिश दी। वहां पुलिस को जो मिला उसे गाड़ियों में भरकर ले गई।
पुलिस छावनी बना रहा इलाका, दहशत में रहे लोग
उत्तराखंड पुलिस ने सोमवार को अचानक फतेहगंज पश्चिमी पहुंची, और यहां मोहल्ला अंसारी, नई बस्ती, सराय के अलावा गांव अगरास, धनतिया और कुरतरा में छापा मारा। एक साथ इतनी बड़ी संख्या में पुलिस के पहुंचने से पूरा इलाका छावनी नजर आ रहा था। पुलिस की छापामार कार्रवाई से लोग दहशत में आ गए। लोगों को समझ नहीं आ रहा था कि आखिर हुआ क्या है। पुलिस संदिग्ध 16 लोगों को पकड़ने के बाद अपने साथ उत्तराखंड ले गए। पुलिस करीब दो घंटे बाद वहां से लौट गई, जिसके बाद लोगों ने राहत की सांस ली।
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उत्तराखंड के पुल भट्ठा थाने में दर्ज हुआ मुकदमा
उत्तराखंड पुलिस को बरेली के थाना फतेहगंज पश्चिमी क्षेत्र के कई लोगों के नशा के धंधे में लिप्त होने की सूचना मिली थी। इसी के आधार पर उत्तराखंड पुलिस ने फतेहगंज पश्चिमी इलाके में छापा मारा था। दबिश के दौरान पुलिस ने 16 लोगों को हिरासत में भी लिया था, लेकिन पूछताछ के बाद 15 लोगों को छोड़ना पड़ा। अगरास निवासी आसिफ हुसैन के खिलाफ पुल भट्ठा थाने में एनडीपीएस एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किा गया।
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पुलिस को देख छत से कूदे युवक का पैर टूटा
बताते हैं कि पुलिस को अपने घर आते देख फतेहगंज पश्चिमी कस्बा निवासी मोनिस नाम का युवक अपने घर की छत से कूद गया, जिससे उसका पैर टूट गया। घायल होने पर परिवार वालों ने उसे अस्पताल ले जाकर भर्ती कराया। वह एक बड़े तस्कर का रिश्तेदार बताया जा रहा है। पुलिस उसके बारे में छानबीन कर रही है।
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छापामारी के दौरान तोड़फोड़ और अभद्रता का आरोप
बरेली के फतेहगंज पश्चिचमी थाना क्षेत्र के कुछ लोगों का आरोप है कि दबिश के दौरान पुलिस ने घरों में तोड़फोड़ और महिलाए से अभद्रता की। घरों में लगे सीसी टीवी कैमरे तोड़ दिए। डीवीआर भी पुलिस वाले अपने साथ ले गए। जिन लोगों को पुलिस ने पकड़ा था उनके परिवार वाले घंटों इधर-उधर भटकते रहे। शाम को 15 लोगों के घर लौटने पर राहत की सांस ली।
अधिकारी बोले-
ऊधमसिंह नगर के एसएसपी मणिकांत मिश्रा का कहना है कि ड्रग्स सप्लाई करने वालों को चिह्नित करने के बाद एक साथ दबिश दी गई। पुलभट्ठा थाने में स्मैक तस्करी में वांछित बरेली जिले के फतेहगंज पश्चिमी के गांव अगरास निवासी आसिफ को गिरफ्तार किया गया है। कुछ लोगों से पूछताछ चल रही है। नशा तस्करों के खिलाफ कुछ अन्य जानकारियां मिली हैं।
बरेली के एसएसपी अनुराग आर्य का कहना है कि दबिश से पहले उत्तराखंड के अधिकारियों की ओर से कोई सूचना नहीं दी गई थी। इस मामले में मुख्यमंत्री और डीजीपी को जानकारी दे दी गई है। रमजान के महीने में सहरी के समय दबिश दी गई थी, जिससे जनाक्रोश भड़क जाता तो त्योहारों पर दिक्कत हो सकती थी। उत्तराखंड पुलिस 16 लोगों को ले गई थी, जिनमें 15 को छोड़ दिया गया।