/young-bharat-news/media/media_files/2025/07/09/bharat-band-simbolic-image-2025-07-09-05-58-26.jpg)
Listen to this article
0.75x1x1.5x
00:00/ 00:00
नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क। आज बुधवार को देशभर में ट्रेड यूनियनों और सरकारी कर्मचारियों की ओर से बुलाई गई राष्ट्रव्यापी हड़ताल का व्यापक असर देखने को मिल सकता है। इस हड़ताल में बैंकिंग, डाक सेवा, बीमा, रेलवे, बिजली और कोयला खनन जैसे अहम क्षेत्रों के कर्मचारी शामिल हो रहे हैं। हड़ताल का मुख्य उद्देश्य नए श्रम कानूनों का विरोध, निजीकरण की नीतियों का बहिष्कार और न्यूनतम वेतन ₹26,000 करने जैसी मांगों को लेकर सरकार पर दबाव बनाना है। इसके साथ ही कर्मचारी पुरानी पेंशन योजना (OPS) की बहाली की भी मांग कर रहे हैं।
हड़ताल में कौन-कौन शामिल?
सीआईटीयू, एटक, इंटक जैसे केंद्रीय ट्रेड यूनियनों के नेतृत्व में यह आंदोलन किया जा रहा है। साथ ही संयुक्त किसान मोर्चा (SKM), नरेगा संघर्ष मोर्चा जैसे क्षेत्रीय संगठनों ने भी इस हड़ताल का समर्थन किया है। हालांकि भारतीय मजदूर संघ (BMS) ने इस हड़ताल से खुद को अलग कर लिया है और इसे राजनीति से प्रेरित बताया है।
हड़ताल के दौरान क्या-क्या हो सकता है?
- औद्योगिक क्षेत्रों में विरोध प्रदर्शन
- ट्रेन और सड़क परिवहन को रोकने की चेतावनी
- बैंकिंग और डाक सेवाएं बाधित
- यूपी में बिजली विभाग के कर्मचारी भी अलग हड़ताल पर
रांची में मशाल जुलूस, चक्का जाम की तैयारी
Advertisment
झारखंड की राजधानी रांची में मंगलवार शाम ट्रेड यूनियनों और वाम दलों ने मशाल जुलूस निकाला। सैनिक मार्केट से अल्बर्ट एक्का चौक तक निकले इस जुलूस में केंद्र सरकार की श्रम विरोधी नीतियों की आलोचना की गई। CPI के राज्य सचिव महेंद्र पाठक ने दो घंटे का चक्का जाम करने की घोषणा की।
इन जरूरी सेवाओं पर पड़ सकता है असर
देशव्यापी हड़ताल का असर कई जरूरी सेवाओं पर पड़ सकता है। यदि आप आज बैंक, डाकघर या रेलवे से जुड़ी कोई सेवा लेने जा रहे हैं, तो पहले स्थिति की जानकारी अवश्य कर लें। सीआईटीयू की राष्ट्रीय सचिव ए.आर. सिंधु ने बताया कि असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों को भी संगठित कर सड़कें जाम की जाएंगी और ट्रेनें रोकी जाएंगी।
Advertisment