नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क: जून 1975 को तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी द्वारा लगाए गए आपातकाल (इमरजेंसी) को आज 50 साल पूरे हो गए हैं। इस मौके पर जहां भाजपा लगातार कांग्रेस पर लोकतंत्र को कुचलने का आरोप लगाकर हमलावर है, वहीं अब कांग्रेस ने भी तीखा पलटवार किया है। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष
मल्लिकार्जुन खड़गे ने भाजपा पर आरोप लगाया कि "देश में पिछले 11 सालों से अघोषित आपातकाल लागू है।" खड़गे ने कहा कि जिस तरह 1975 में संविधान को ताक पर रखकर तानाशाही चलाई गई थी आज भाजपा लोकतंत्र के नाम पर वही रवैया दिखा रही है लेकिन बिना आधिकारिक घोषणा के।
भाजपा-कांग्रेस के बीच सियासी जंग तेज
आपातकाल की 50वीं बरसी को लेकर दोनों दलों के बीच तीखी सियासी बयानबाजी देखी जा रही है। भाजपा जहां इस दिन को "संविधान हत्या दिवस" के रूप में याद कर रही है और कांग्रेस पर लोकतंत्र की हत्या का आरोप लगा रही है, वहीं कांग्रेस इसे भाजपा की राजनीतिक नौटंकी बता रही है। "जो लोग आज आपातकाल की दुहाई दे रहे हैं, वही प्रेस की आजादी पर हमला कर रहे हैं, विपक्ष को कुचल रहे हैं, और संवैधानिक संस्थाओं को कमजोर कर रहे हैं। ये ही असली 'अघोषित आपातकाल' है।
कांग्रेस का आरोप: प्रेस, विपक्ष और न्यायपालिका पर दबाव
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि मोदी सरकार के कार्यकाल में प्रेस की आजादी बाधित हुई है, विपक्षी नेताओं को निशाना बनाया गया है और जांच एजेंसियों का दुरुपयोग कर उन्हें डराया जा रहा है। उन्होंने दावा किया कि न्यायपालिका पर भी अप्रत्यक्ष दबाव डाला जा रहा है, जो लोकतंत्र के लिए खतरे की घंटी है। 1975 की आपातकाल की घोषणा और उसके 21 महीनों तक चला दौर भारतीय लोकतंत्र के लिए निश्चित रूप से एक कठिन समय था, लेकिन अब जब उसकी 50वीं वर्षगांठ पर दोनों प्रमुख दल एक-दूसरे पर लोकतंत्र के दमन के आरोप लगा रहे हैं, तो जनता के मन में भी सवाल उठ रहा है – क्या आज का भारत वाकई पूरी तरह लोकतांत्रिक है? congress mallikarjun kharge