नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क। देश में पाकिस्तानी जासूसों को पकड़ने का सिलसिला जारी है। हिमाचल प्रदेश की देहरा पुलिस ने कांगड़ा जिले से एक युवक को गिरफ्तार किया है, जिस पर पाकिस्तान के लिए जासूसी करने का गंभीर आरोप है। आरोपी की पहचान अभिषेक के रूप में हुई है, जो कांगड़ा के देहरा क्षेत्र का निवासी है। उसे माता चिंतपूर्णी मंदिर से महज तीन किलोमीटर की दूरी से पकड़ा गया। यह मंदिर ऊना और कांगड़ा जिलों की सीमा पर स्थित है।
मोबाइल से मिले अहम सुराग
पुलिस ने 20 वर्षीय अभिषेक भारद्वाज को पाकिस्तान के लिए जासूसी करने के आरोप में गिरफ्तार किया है। पुलिस के मुताबिक, अभिषेक के पास से बरामद मोबाइल फोन की जांच में कई अहम सुराग हाथ लगे हैं, जो इस बात की पुष्टि करते हैं कि वह पाकिस्तान को संवेदनशील जानकारी भेज रहा था। फिलहाल उसका मोबाइल जब्त कर फोरेंसिक जांच के लिए भेज दिया गया है।देहरा सिटी के पुलिस अधीक्षक मयंक चौधरी ने बताया कि आरोपी के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 152 के तहत मामला दर्ज किया गया है और उसे जल्द ही अदालत में पेश किया जाएगा।
सुरक्षा एजेंसियां अलर्ट
यह गिरफ्तारी ऐसे समय में हुई है जब पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पूरे देश में “ऑपरेशन सिंदूर” के तहत सुरक्षा एजेंसियां अलर्ट पर हैं। इस ऑपरेशन के तहत अब तक कई शहरों से पाक खुफिया एजेंसी ISI के लिए जासूसी कर रहे लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। इससे पहले 28 मई की रात को जैसलमेर से पाकिस्तान के लिए जासूसी करने वाली शकूर खान को गिरफ्तार किया गया था।
पूर्व मंत्री का सचिव निकला पाकिस्तानी जासूस
आपको बता दें कि इससे पहले राजस्थान के जैसलमेर से एक पाकिस्तानी जासूस को पकड़ा गया है। सरकारी कर्मचारी शकूर खान पर पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI के लिए जासूसी करने का आरोप है। जांच एजेंसियों के मुताबिक, शकूर खान लंबे समय से देश की खुफिया जानकारी पाकिस्तान तक पहुंचा रहा था। पाकिस्तान के लिए जासूसी करने वाले शकूर खान का राजस्थान के पूर्व मंत्री से कनेक्शन निकला है। शकूर इससे पहले वह राजस्थान के पूर्व मंत्री साले मोहम्मद का निजी सचिव भी रह चुका है।
जासूसी नेटवर्क बेनकाब
देश की सुरक्षा एजेंसियां लगातार पाकिस्तानी जासूसों का नेटवर्क खंगालने में लगी हुई हैं। अब तक देश के अलग-अलग हिस्सों से कई जासूस गिरफ्तार किए गए हैं, जो पाकिस्तान को खुफिया जानकारी दे रहे थे। यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा, जिस पर पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी का समर्थन करने का आरोप है, इस समय जेल में है। इसके अलावा हाल ही में गुजरात के कच्छ जिले से सहदेव सिंह गोहिल को पकड़ा गया, जो बीएसएफ और नौसेना की सूचनाएं वॉट्सऐप के जरिए पाक एजेंट्स को भेज रहा था। वह लखपत तालुका में स्वास्थ्य विभाग में संविदा कर्मी के तौर पर काम कर रहा था। सुरक्षा एजेंसियों की यह सख्ती संकेत देती है कि अब देश के भीतर छिपे जासूसी नेटवर्क को बेनकाब करने का अभियान और तेज़ हो चुका है।
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