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हैदराबाद में बनेगी Rafale मेंटेनेंस यूनिट, फ्रांस की कंपनी ने कर दी घोषणा

Safran Aircraft Engines ने राफेल के M88 इंजन के लिए हैदराबाद में पहली विदेशी MRO यूनिट बनाने की घोषणा की। यह यूनिट हर साल 600+ इंजन मॉड्यूल्स की मरम्मत करेगी और 2040 तक 150 से अधिक नौकरियों का सृजन करेगी।

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Dhiraj Dhillon
Rafale fighter jet
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नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क। Safran Aircraft Engines ने राफेल लड़ाकू विमान के M88 इंजन की मरम्मत और रखरखाव (MRO) के लिए हैदराबाद में एक नई सुविधा स्थापित करने की घोषणा की है। यह दुनिया में फ्रांस के बाहर पहला ऐसा केंद्र होगा जो M88 इंजन मॉड्यूल्स की मरम्मत करेगा। यह परियोजना भारतीय वायुसेना सहित अन्य M88 निर्यात ग्राहकों को समर्थन देने के Safran के संकल्प को मजबूत करती है। नई MRO यूनिट की सालाना क्षमता 600 से अधिक इंजन मॉड्यूल्स की होगी और यह केंद्र 2040 तक करीब 150 नौकरियां पैदा करेगा। यह सुविधा न केवल भारत की एयरोस्पेस आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देगी, बल्कि वैश्विक स्तर पर M88 इंजन की बढ़ती मेंटेनेंस जरूरतों को भी पूरा करेगी।

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Safran aircraft engine

भारतीय रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की दिशा में अहम कदम

Safran Aircraft Engines के मिलिट्री इंजन विभाग के कार्यकारी उपाध्यक्ष क्रिस्टोफ ब्रूनो ने कहा- हमें खुशी है कि हमने हैदराबाद को M88 इंजन की पहली विदेशी मरम्मत सुविधा के रूप में चुना है। यह परियोजना भारतीय रक्षा और एयरोस्पेस क्षेत्र में आत्मनिर्भरता को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने यह भी जोड़ा कि यह केंद्र एक विश्वस्तरीय MRO इकोसिस्टम के विकास की दिशा में कंपनी की प्रतिबद्धता को दर्शाता है, जिससे सभी M88 ऑपरेटर्स को लाभ मिलेगा।

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राफेल फ्लीट के लिए बड़ा सपोर्ट बेस

Rafale M fighter jet: भारत में राफेल विमानों की तैनाती के बाद से ही इंजन और तकनीकी सहायता के लिए स्थानीय MRO केंद्र की आवश्यकता महसूस की जा रही थी। Safran की यह पहल मेक इन इंडिया और रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता अभियान को मजबूती प्रदान करेगी। बता दें कि भारत ने 28 अप्रैल, 2025 को फ्रांस के साथ 26 राफेल मरीन फाइटर्स जेट को लेकर डील फाइनल की थी। यह सौदा 63000 करोड़ का है। इस सौदे में 22 सिंगल सीटर और चार डबल सीटर फाइटर विमान शामिल हैं। इस सौदे बाद पाकिस्तान की शामत आना तय मानी जा रही है। पाकिस्तान में भी इस बड़े रक्षा सौदे को लेकर सनसनी का माहौल है। राफेल- एम भारतीय नेवी के लिए खरीदे गए हैं, जो मिग-29 बेड़े की जगह लेंगे। राफेल- एम फाइटर प्लेन  जहाज से टेक ऑफ करके हमला कर सकेंगे और वापस जहाज पर लैंड कर सकेंगे। फ्रांस के साथ हुई इस डील पर आज दिल्ली में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की मौजूदगी में हस्ताक्षर हुए हैं। 

Safran Aircraft Engines के बारे में जानें

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सैफरन एयरक्राफ्ट इंजन एक प्रमुख फ्रांसीसी कंपनी है, जो सैन्य और नागरिक विमानों के लिए गैस टर्बाइन इंजन डिजाइन, निर्माण और रखरखाव में विशेषज्ञता रखती है। यह सैफरन ग्रुप का हिस्सा है और विश्व स्तर पर प्रसिद्ध CFM International (GE Aerospace के साथ संयुक्त उद्यम) की सह-निर्माता है, जो CFM56 और LEAP इंजन बनाती है। सैफरन एयरक्राफ्ट इंजन की तकनीक उच्च दक्षता, ईंधन बचत और पर्यावरणीय मानकों के पालन के लिए जानी जाती है। कंपनी अनुसंधान और नवाचार में भी अग्रणी है और भविष्य के टिकाऊ एविएशन समाधानों पर कार्य कर रही है।

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