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उत्तरकाशी प्राकृतिक आपदा : राज्य सरकार ने झोंकी पूरी ताकत, हरिद्वार-देहरादून मार्ग पर रेल सेवाएं स्थगित

राहत और बचाव कार्यों को प्रभावी ढंग से संचालित करने के लिए ने तत्काल मदद के तौर पर 20 करोड़ रुपए की मंजूरी दी है। साथ ही पुलिस मुख्यालय की ओर से वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों और विशेष पुलिस बलों की तत्काल तैनाती की गई है।

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Mukesh Pandit
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देहरादून, आईएएनएस।उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में बादल फटने से मची तबाही के बाद राज्य सरकार ने राहत और बचाव कार्यों में पूरी ताकत झोंक दी है। राहत और बचाव कार्यों को प्रभावी ढंग से संचालित करने के लिए ने तत्काल मदद के तौर पर 20 करोड़ रुपए की मंजूरी दी है। साथ ही पुलिस मुख्यालय की ओर से वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों और विशेष पुलिस बलों की तत्काल तैनाती की गई है। प्राकृतिक आपदा की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए भारतीय पुलिस सेवा के वरिष्ठ अधिकारियों को उत्तरकाशी भेजा गया है।

वरिष्ठ अधिकारियों की तैनाती

जानकारी के अनुसार, जिन अफसरों की तैनाती की गई है, उनमें एसडीआरएफ के पुलिस महानिरीक्षक अरुण मोहन जोशी, गढ़वाल परिक्षेत्र के आईजी राजीव स्वरूप, एसपी प्रदीप कुमार राय, एसपी अमित श्रीवास्तव, एसपी सुरजीत सिंह पंवार और एसपी श्वेता चौबे शामिल हैं। साथ ही एक डिप्टी कमांडेंट और 11 डिप्टी एसपी भी राहत कार्यों के समन्वयन के लिए रवाना किए गए हैं, जो राहत एवं समन्वय कार्यों का नेतृत्व करेंगे।

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आपदा राहत दल के 140 जवानों को भेजा 

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आपदा प्रबंधन को और मजबूत बनाने के लिए सेनानायक आईआरबी द्वितीय, श्वेता चौबे के नेतृत्व में देहरादून की कंपनी तथा 40वीं वाहिनी पीएसी के विशेष आपदा राहत दल के 140 जवानों को भेजा गया है। प्रदेश के अन्य जिलों से भी सहयोग जुटाया गया है। देहरादून, हरिद्वार, पौड़ी और टिहरी से कुल 160 पुलिसकर्मियों (निरीक्षक से लेकर आरक्षी स्तर तक) को आवश्यक राहत उपकरणों के साथ प्रभावित क्षेत्रों में रवाना किया गया है।

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सभी मिलकर करेंगे राहत औरबचाव के कार्य

इन सभी बलों को स्थानीय प्रशासन के साथ मिलकर राहत और बचाव कार्यों में तेजी लाने की जिम्मेदारी दी गई है। सरकार और पुलिस प्रशासन का उद्देश्य है कि प्रभावित लोगों को तुरंत सहायता पहुंचे, जनहानि को न्यूनतम किया जाए और राहत कार्य तेजी, समन्वय और सटीकता के साथ पूरे किए जाएं। सभी पुलिस बलों को 24 घंटे कार्य करने के निर्देश दिए गए हैं।

जलप्रलय ने मचाया कहर

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उल्लेखनीय है कि उत्‍तराखंड के धराली में बादल फटने से भारी तबाही मच गई। बादल फटने से पानी का ऐसा जलजला आया कि पूरा गांव बह गया। आस पास बने दर्जनों रिसॉर्ट को नुकसान पहुंचने की खबर है। इस हादसे के बाद सैकड़ों लोग लापता हैं। घटना के तुरंत बाद भारतीय सेना की आईबेक्स ब्रिगेड को राहत एवं बचाव कार्य के लिए तैनात किया गया। सेना की टीम ने मौके पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया और बचाव कार्य शुरू कर दिया है। जानकारी के अनुसार, इस आपदा में अब तक चार लोगों की मौत हो चुकी है।

पटरी पर बड़ा पत्थर गिरने से हरिद्वार-देहरादून मार्ग पर रेल सेवाएं स्थगित

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उत्तराखंड में भूस्खलन के कारण पटरियों पर एक बड़ा पत्थर गिरने के बाद उत्तर रेलवे ने हरिद्वार-देहरादून मार्ग पर रेल परिचालन मंगलवार शाम को स्थगित कर दिया। उत्तर रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी हिमांशु उपाध्याय ने बताया, "हरिद्वार-देहरादून मार्ग पर हरिद्वार-मोतीचूर खंड के बीच एक बड़ा पत्थर पटरी पर गिर गया।" उन्होंने कहा कि रेलवे की पूर्व तैयारी के चलते कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ। उपाध्याय ने बताया कि किसी के घायल होने या हताहत होने की सूचना नहीं है और मरम्मत का काम शुरू हो चुका है तथा सेक्शन अधिकारी मौके पर मौजूद हैं। उपाध्याय के अनुसार, परिचालन यथाशीघ्र पुनः शुरू करने के लिए सभी प्रयास किए जा रहे हैं। उत्तर रेलवे ने देहरादून जाने वाली तीन ट्रेन की सेवा हरिद्वार में ही समाप्त करने की अधिसूचना जारी की है। 

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