नईदिल्ली, वाईबीएन नेटवर्क।
आज कल Ice bath का चलन काफी बढ़ गया है लेकिन यह तरीका काफी पुराना है। तमाम धावक और स्वास्थ्य के प्रति सजग व्यक्ति लम्बे समय से इसका इस्तेमाल कर रहे हैं। मानसिक सेहत को बेहतर बनाने में आइस बाथ की तकनीक बहुत ही कारगर साबित होती है। इससे अच्छी नींद आती है और मानसिक तनाव को कुछ हद तक कम किया जा सकता है।
हाल ही में किये गए एक अध्ययन में पाया गया है कि 10 मिनट तक ठंडे पानी में डुबकी लगाने से सेहत में कई बदलाव होते हैं। इससे मन तरोताजा होता है और चिंता, अवसाद से छुटकारा मिलता है। यह एक व्यायाम की तरह है। एक संस्थान ने तेरह लोगों पर किए अध्ययन में पाया कि आइस बाथ लेने से पहले और बाद में उनमें अनेक अन्तर देखे गए और ये अन्तर सकारात्मक थे। दरअसल ठंडे पानी के सम्पर्क में आने से शरीर में खून की गति बढ जाती है और न्यूरो सिस्टम बेहतर तरीके से काम करता है। लेकिन पिछले कुछ अध्ययनों में यह भी कहा गया कि ज्यादा समय तक ठंडे पानी में रहने से याददाश्त और ध्यान पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है।
कब और कितनी बार आइस बाथ लेना सही ?
आइस बाथ को महीने में तीन बार और सप्ताह में एक बार लेना चाहिए। दस डिग्री के तापमान पर शरीर को 10 मिनट तक पानी में डुबोकर रखना चाहिए।
ये होते हैं लाभ:
आइस बाथ लेने से दिमाग तेज होता है
आइस बाथ से नींद की समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है
इससे तनाव को दूर किया जा सकता है।
रखें ये सावधानियां
ठंडे पानी में जाना हृदय रोगियों के लिए घातक हो सकता है। इससे सांस फूलने जैसी दिक्कत भी आ सकती है। आइस बाथ लेने से पूर्व चिकित्सक की सलाह जरूर लें या फिर किसी की निगरानी में ही इसे करें।