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क्वेटा, वाईबीएन नेटवर्क।
बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (BLA) ने पाकिस्तान के नाक में दम किया हुआ है। आज पाकिस्तान में करांची से बलूचिस्तान प्रांत की राजधानी क्वेटा के लिए रवाना हुई ट्रेन को सुरक्षा कारणों से बलूचिस्तान में प्रवेश की अनुमति नहीं मिली। दरअसल पाकिस्तानी प्रशासन बीएलए के डर से बलूचिस्तान में ट्रेन परिचालन की अनुमति नहीं दे पाया। क्वेटा के लिए रवाना हुई “बोलन मेल” में करीब डेढ़ सौ यात्री सवार थे। इनमें कुछ वीआईपी परिवार भी थे। बीएलए की धमकी के चलते ट्रेन को सिंध प्रांत के जैकोबाबाद स्टेशन पर ही रोक दिया गया। कई यात्री जैकोबाबाद स्टेशन पर फंस गए, वहां न तो पानी की व्यवस्था थी और न ही बिजली की। गर्मी का मौसम होने के कारण कई बच्चों के बेहोश होने की भी खबर है।
सोमवार सुबह “बोलन मेल” को बलूचिस्तान में प्रवेश नहीं करने दिया गया। ट्रेन को सिंध प्रांत भी ही रोक दिया गया। जैकोबाबाद स्टेशन पर यात्रियों को उतारकर उनका बाकी बचा किराया लौटा दिया गया। ट्रेन में कई वीआईपी परिवार सवार थे। कुछ यात्रियों को कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच बस से सिब्बी ले जाया गया। जहां से यात्रियों ने स्थानीय परिवहन सेवाओं का उपयोग करते हुए मुश्किल से करांची वापसी की। ट्रेन में कई सरकारी अधिकारियों और सैन्य कर्मियों के परिवार भी सवार थे।
पाकिस्तान रेलवे के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) आमिर अली बलूच ने बताया कि बोलन मेल को सुरक्षा कारणों से रोका गया है। उन्होंने कहा कि बलूचिस्तान में रात के समय ट्रेनों के परिचालन की अनुमति नहीं है। उन्होंने बताया कि यात्रियों को बसों के जरिए क्वेटा और अन्य स्थानों पर पहुंचाया गया है। बता दें कि बलूचिस्तान के बोलन दर्रे में 11 मार्च को जाफर एक्सप्रेस को बीएलए ने हाईजेक कर लिया था। जाफर एक्सप्रेस में 400 यात्री सवार थे। सेना के साथ करीब 48 घंटे तक चले संघर्ष में बीएलए के 33 लड़ाके मार दिए। पाकिस्तान ने 21 रेल यात्रियों की मौत की पुष्टि की थी।