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कीव, आईएएनएस। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने साफ कहा है कि उनका देश किसी भी हाल में रूस को अपनी जमीन नहीं देगा। यह बयान उन्होंने तब दिया, जब अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने युद्ध खत्म करने के लिए "इलाकों की अदला-बदली" का सुझाव दिया था। जेलेंस्की ने इस सुझाव को दृढ़ता से खारिज कर दिया है। उधर, अमेरिकी सांसद लिंडसे ग्राहम ने भारत से आग्रह किया है कि वह यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की मदद करने के लिए अपने प्रभाव का उपयोग करे।
कब्जा करने वाले को अपनी जमीन नहीं देंगे, जेलेंस्की
जेलेंस्की ने शनिवार को कहा, "यूक्रेन कभी भी कब्जा करने वाले को अपनी जमीन नहीं देगा। हम रूस को उसके किए का कोई इनाम नहीं देंगे।" जेलेंस्की ने वास्तविक और स्थायी शांति की आवश्यकता पर ज़ोर देते हुए कहा कि लक्ष्य "हत्याओं पर विराम नहीं, बल्कि तत्काल एक वास्तविक और स्थायी शांति है।"
यूक्रेन और यूरोप के शीर्ष अधिकारी मिले थे
यह बयान उस समय आया जब यूक्रेन और यूरोप के शीर्ष अधिकारी, अमेरिका के उपराष्ट्रपति जे.डी. वेंस से इंग्लैंड के केंट शहर में मिले। इस बैठक में युद्ध खत्म करने के कूटनीतिक रास्तों पर चर्चा हुई। इस बैठक में यूनाइटेड किंगडम, फ्रांस, जर्मनी, इटली, फ़िनलैंड और पोलैंड सहित प्रमुख यूरोपीय देशों के प्रतिनिधि शामिल थे।
पश्चिमी देशों का समर्थन आगे भी मिलेगा,जेलेंस्की
जेलेंस्की ने बैठक को सकारात्मक बताया और उम्मीद जताई कि पश्चिमी देशों का समर्थन आगे भी मिलेगा। उन्होंने ‘एक्स’ पर लिखा कि फरवरी से अब तक ट्रंप प्रशासन की हर युद्धविराम पहल को यूक्रेन ने समर्थन दिया है, और आगे कहा, "मैंने किसी भी सहयोगी को युद्ध समाप्त करने की अमेरिका की क्षमता पर संदेह व्यक्त करते नहीं सुना है।"
अलास्का बैठक की जेलेंस्की ने की आलोचना
जेलेंस्की ने ट्रंप और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच 15 अगस्त को अलास्का में होने वाली प्रस्तावित बैठक की भी कड़ी आलोचना की। उन्होंने कहा, "यूक्रेन की भागीदारी के बिना लिया गया कोई भी फैसला बेकार है और कभी काम नहीं करेगा।"ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘ट्रुथ सोशल’ पर इस मुलाकात की पुष्टि की और बताया कि यह अगले शुक्रवार अलास्का में होगी। रूसी एजेंसी ‘तास’ ने भी क्रेमलिन के एक अधिकारी के हवाले से इसकी पुष्टि की।
ट्रंप ने शनिवार को व्हाइट हाउस में पत्रकारों से कहा कि सुरक्षा कारणों से बैठक में देरी हुई। उन्होंने आगे कहा कि "दोनों देशों की बेहतरी के लिए कुछ क्षेत्रों की अदला-बदली" पर चर्चा की जाएगी, हालांकि उन्होंने प्रस्ताव की बारीकियों के बारे में विस्तार से नहीं बताया।
यूक्रेन युद्ध समाप्त करने में अपने ‘प्रभाव’ का इस्तेमाल करे भारत
सांसद ने यह बात प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से बात करने के कुछ घंटों बाद कही। ग्राहम ने कहा कि यह वाशिंगटन और दिल्ली के बीच संबंधों को बेहतर बनाने में महत्वपूर्ण होगा। ग्राहम ने सोशल मीडिया पर पोस्ट किया, ‘‘जैसा कि मैं भारत में अपने दोस्तों से कहता रहा हूं, भारत-अमेरिका संबंधों को बेहतर बनाने के लिए सबसे महत्वपूर्ण काम जो वे कर सकते हैं, वह है राष्ट्रपति ट्रंप को यूक्रेन में इस खूनखराबे को खत्म करने में मदद करना।
भारत रूस से सस्ते तेल का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार
ग्राहम ने कहा कि भारत रूस से सस्ते तेल का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार है, जो पुतिन की युद्ध मशीन को ईंधन देता है। अमेरिकी सांसद ने कहा, मुझे उम्मीद है कि प्रधानमंत्री मोदी ने पुतिन के साथ हालिया फोन कॉल के दौरान यूक्रेन में इस युद्ध को हमेशा के लिए समाप्त करने की जरूरत पर जोर दिया होगा। मेरा हमेशा से मानना रहा है कि इस मामले में भारत का प्रभाव है, और मुझे उम्मीद है कि वे इसका समझदारी से इस्तेमाल करेंगे। : Ukraine Russia conflict | Zelensky news | Zelensky rejects Trump plan | America Russia Ties | russia | Russia news