लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। लखनऊ के एडीजी जोन कार्यालय में तैनात बाबू विनोद कुमार सिंह पर फर्जी तरीके से तबादला आदेश जारी करने के मामले में बड़ी कार्रवाई की गई है। गौतमपल्ली थाने में दर्ज एफआईआर के आधार पर आरोपी के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी गई है, साथ ही विभागीय जांच भी शुरू हो गई है। यह पूरा मामला प्रकाश में आने के बाद विभाग में चर्चा का विषय बन गया है।
इन तीन सिपाहियों का किया गया था तबादला
आरोप है कि विनोद कुमार सिंह ने एडीजी जोन पीयूष मोर्डिया के फर्जी हस्ताक्षर कर तीन सिपाहियों विजय बहादुर यादव (उन्नाव), संजय कुमार (रायबरेली) और हरि मिश्र (अयोध्या) का तबादला क्रमशः अंबेडकरनगर, बाराबंकी और सीतापुर के लिए जारी कर दिया था। इस फर्जीवाड़े का खुलासा तब हुआ जब तबादले की सूचना एसीपी हजरतगंज के संज्ञान में आई।
आरोपी ने गिरफ्तारी से बचने के लिए ले रहा है कोर्ट से स्टे ऑर्डर
मामले की जांच एएसपी हरदोई नृपेंद्र को सौंपी गई थी, जिनकी रिपोर्ट में विनोद सिंह को दोषी पाया गया। इसके बाद तत्कालीन एडीजी जोन ने उसे निलंबित कर दिया था । इंस्पेक्टर विजय कुमार तिवारी की तहरीर पर बाबू के खिलाफ बीएनएस की गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है। हालांकि आरोपी ने गिरफ्तारी से बचने के लिए अदालत से स्टे ऑर्डर ले रखा है। पुलिस अब कानूनी सलाह के बाद आगे की कार्रवाई की तैयारी कर रही है। माना जा रहा है कि आरोपी की बर्खास्तगी की कार्रवाई की जा सकती है।
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