लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक राजीव कृष्ण ने आज डॉ. भीमराव अंबेडकर पुलिस अकादमी, मुरादाबाद से प्रशिक्षण प्राप्त 91वें बैच के 34 प्रांतीय पुलिस सेवा (पीपीएस) अधिकारियों से औपचारिक भेंटवार्ता की। यह अवसर प्रशिक्षुओं की पासिंग आउट परेड के उपरांत आयोजित किया गया।इस बैच में कुल 34 पुलिस उपाधीक्षक सम्मिलित हैं, जिनमें 25 पुरुष एवं 9 महिला अधिकारी हैं। इनमें से 33 अधिकारी उत्तर प्रदेश तथा 1 अधिकारी मध्य प्रदेश से हैं। इनका प्रशिक्षण 20 मई 2024 को प्रारंभ होकर 4 जून को समाप्त हुआ था और 6 जून को पासिंग आउट परेड सम्पन्न हुई।
डीजीपी ने विभिन्न महत्वपूर्ण पहलुओं पर ने नए पीपीएस अफसरों का किया मार्गदर्शन
शैक्षणिक पृष्ठभूमि की बात करें तो इन अधिकारियों में 11 परास्नातक (2 M.Sc., 9 M.A.), 23 स्नातक (1 MBBS, 13 B.Tech, 6 B.Sc., 1 LLB, 2 B.A.) हैं, जो इनकी विविधता और बहुआयामी क्षमता को दर्शाता है। भेंटवार्ता के दौरान डीजीपी राजीव कृष्ण ने प्रशिक्षु अधिकारियों को कानून व्यवस्था, फील्ड ड्यूटी, नेतृत्व कौशल, साइबर क्राइम एवं जन शिकायतों के त्वरित निस्तारण जैसे विभिन्न महत्वपूर्ण पहलुओं पर मार्गदर्शन दिया।
साइबर क्राइम, कानून की जानकारी करियर में सहायक होगी
उन्होंने कहा कि—ब्रीफिंग सिर्फ ड्यूटी नहीं, बल्कि नेतृत्व की कला है।निर्णय लेने में अधीनस्थों की बात सुनना और परिस्थितियों को स्वयं समझना आवश्यक है।उत्कृष्ट अधिकारी के लिए Open Mind, Clear Vision और Good Judgement अनिवार्य गुण हैं।फॉरेंसिक, साइबर क्राइम, कानून की जानकारी करियर में सहायक होगी।
जनशिकायतों का गुणवत्तापूर्ण समाधान शीर्ष प्राथमिकता होनी चाहिए
व्यवहारिक प्रशिक्षण के दौरान निचले स्तर से सीखने और अपने ज्ञान को उच्चीकृत करने की आवश्यकता है।अधिकारी को सकारात्मक दृष्टिकोण रखते हुए Proper Knowledge, Skill और Attitude का समन्वय करना चाहिए। साइबर अपराध एवं जनशिकायतों का गुणवत्तापूर्ण समाधान शीर्ष प्राथमिकता होनी चाहिए।प्रशिक्षुओं से उम्मीद की गई कि वे यूपी पुलिस को साइबर क्राइम के खिलाफ देश की अग्रणी फोर्स बनाने में योगदान देंगे।
सर्वश्रेष्ठ प्रशिक्षु द्वारा डीजीपी को भेंट किया गया स्मृति चिन्ह
डीजीपी ने प्रशिक्षुओं को 'चेंज एजेंट' बनने की प्रेरणा दी और उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की। कार्यक्रम के अंत में अकादमी की ओर से सर्वश्रेष्ठ प्रशिक्षु द्वारा डीजीपी को स्मृति चिन्ह भेंट किया गया। इस अवसर पर पुलिस महानिदेशक (प्रशिक्षण) तिलोत्मा वर्मा एवं अपर पुलिस महानिदेशक (अकादमी) राजीव सब्बरवाल भी उपस्थित रहे।
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