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शाहजहांपुर में हुआ आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस का अंतरराष्ट्रीय विमर्श

शाहजहांपुर जी.एफ. कॉलेज में भूटान व नेपाल के सहयोग से दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सेमिनार का आयोजन किया गया। आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस एवं वैश्विक विकास विषय पर आयोजित इस सेमिनार में भारत, नेपाल, भूटान और नाइजीरिया से विशेषज्ञों एवं छात्रों ने भाग लिया।

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Ambrish Nayak
जीएफ कॉलेज

Photograph: (वाईबीएन नेटवर्क )

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शाहजहांपुर वाईबीएन संवाददाता 

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शाहजहांपुर जी.एफ. कॉलेज के कॉमर्स व बीबीए विभाग भूटान के गेडू कॉलेज ऑफ बिजनेस स्टडीज और नेपाल की नॉवेल एकेडमी पोखरा के संयुक्त तत्वावधान में आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस एंड ग्लोबल डेवलपमेंट’ विषय पर दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सेमिनार का शुभारंभ हुआ।

कार्यक्रम की शुरुआत सम्मानित अतिथियों के स्वागत के साथ हुई। अतिथियों को अंगवस्त्र व बुके भेंट किए गए। इस अवसर पर डॉ. पुनीत मनीषी व डॉ. अनमोल सक्सेना द्वारा सम्पादित पुस्तक ‘आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस एंड ग्लोबल डेवलपमेंट’ तथा डॉ. मंसूर अहमद सिद्दीकी व डॉ. मोहम्मद ज़मा खान द्वारा लिखित ‘दिल्ली सल्तनत’ पुस्तक का विमोचन भी अतिथियों द्वारा किया गया। कार्यक्रम में जीएफ कॉलेज शाहजहांपुर और गेडू कॉलेज, पोखरा (नेपाल) के बीच शैक्षणिक सहयोग हेतु एमओयू पर हस्ताक्षर किया गया।

सेमिनार का उद्घाटन करते हुए कॉलेज के प्राचार्य प्रो. मोहसिन हसन खां ने कहा कि आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस ऐसी तकनीक है जो मशीनों को मानवीय बुद्धिमत्ता से युक्त बनाती है। मुख्य वक्ता नॉवेल अकादमी नेपाल के सीईओ विशेश्वर आचार्य ने इसे भविष्य के लिए एक उपयोगी उपकरण बताया। भूटान से पधारे प्रो. प्राण कुमार कौल ने इसके चलते मानव श्रम की आवश्यकता में कमी की संभावना जताई। साकेत महाविद्यालय, अयोध्या से आए प्रो. मिर्ज़ा साहब शाह ने कहा कि भारत में इसका प्रयोग तेजी से बढ़ रहा है। एस.एस. कॉलेज के प्रो. अनुराग अग्रवाल ने कहा कि आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस में डेटा तो होता है, लेकिन मानवता और विवेक का अभाव होता है। तकनीकी सत्रों में श्री विशेश्वर आचार्य, प्रो. नीरज शुक्ला, डॉ. मनीष कुमार, डॉ. संजय रस्तोगी, डॉ. अमित कुमार, डॉ. जागृति गुप्ता, प्रो. तूलिका सक्सेना सहित विभिन्न विशेषज्ञों ने विषय पर अपने विचार रखे। तकनीकी सत्रों में करीब 50 विद्यार्थियों ने शोधपत्र प्रस्तुत किए। इनमें नबीहा हसन खान, जशनप्रीत, नाइजीरिया से याहया अब्दुलरहमान, अब्दुलरहमान अबूबकर, सरिया मुजीब, अभिया तिवारी, अलकमा, खुशी खन्ना आदि प्रमुख रहे।

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कार्यक्रम का संयोजन डॉ. पुनीत मनीषी ने किया तथा आभार प्रदर्शन डॉ. अनमोल सक्सेना ने किया। मंच संचालन डॉ. मंसूर अहमद सिद्दीकी ने किया। सेमिनार में सैयद अनीस अहमद, प्रो. फैयाज अहमद, डॉ. सुहेल नकवी, प्रो. जी.ए. कादरी, डॉ. स्वप्निल यादव, डॉ. नीलम टंडन, डॉ. शहाब हुसैन, डॉ. प्रदीप कुमार, डॉ. रोशन सिंह समेत अनेक शिक्षाविदों व शोधार्थियों की उपस्थिति रही। कार्यक्रम में कॉलेज स्टाफ और बड़ी संख्या में शोध छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।

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