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Chenab से लेकर China के दादुहे रेलवे ब्रिज तक, ये हैं विश्व के टॉप 5 सबसे ऊंचे रेलवे ब्रिज

word में कई ऐसे रेलवे ब्रिज हैं जो ऊंचाई और मजबूती में सबको हैरान कर देते हैं। खासकर चीन और भारत में बने ये पुल पहाड़ी इलाकों को जोड़ते हैं और तेज, सुरक्षित सफर की सुविधा देते हैं। आइए जानते हैं दुनिया के टॉप 5 सबसे ऊंचे रेलवे पुलों के बारे में।

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Mukesh Pandit
Chenab River Railway Bridge

Chenab River Railway Bridge

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नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क। विश्वभर में अन्क ऐसे शानदार पुल हैं जो न सिर्फ लंबाई में बड़े हैं, बल्कि ऊंचाई में भी दुनिया को हैरान कर देते हैं। खासकर रेलवे पुल, जो पहाड़ों, नदियों और घाटियों को पार करते हुए यात्रियों को तेज और सुरक्षित सफर देते हैं। इन पुलों को बनाना आसान नहीं होता, लेकिन इंजीनियरों की मेहनत और टेक्नोलॉजी की मदद से इनका निर्माण किया जाता है। आइए जानते हैं दुनिया के 5 सबसे ऊंचे रेलवे पुलों के बारे में, जो चीन और भारत जैसे देशों में स्थित हैं और आधुनिक इंजीनियरिंग के जबरदस्त नमूने माने जाते हैं।  Chenab Bridge | Chenab River | jammu | jammu and kashmir | jammu kashmir 

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Chenab Railwa

चिनाब नदी रेलवे ब्रिज, जम्मू-कश्मीर

चिनाब रेलवे ब्रिज जम्मू -कश्मीर राज्य में बना है। यह पुल रियासी जिले में चिनाब नदी के ऊपर बनाया गया है। इसकी कुल लंबाई 1,315 मीटर है और यह नदी की सतह से 359 मीटर (यानि 1,178 फीट) ऊंचा है। यह दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज है। इसे स्टील और कंक्रीट से बहुत मजबूत तरीके से बनाया गया है। यह पुल जम्मू से बारामूला तक की रेल लाइन का हिस्सा है। इस पुल को कोकण रेलवे कॉर्पोरेशन ने भारतीय रेलवे के लिए बनाया है। इस परियोजना को 2002 में मंजूरी मिली थी, लेकिन पुल बनाने का काम 2017 में शुरू हुआ। 2021 में इसका मुख्य आर्च पूरा हुआ और 2022 में पूरा पुल बनकर तैयार हो गया। इस पुल पर पहली बार ट्रेन का ट्रायल जून 2024 में हुआ था। इसे आम लोगों के लिए 6 जून 2025 से शुरू कर दिया गया है। चिनाब ब्रिज से जम्मू-कश्मीर में आना-जाना आसान होगा। इससे वहां के लोगों को बड़ी सुविधा मिलेगी और विकास भी तेजी से होगा। यह पुल भारतीय इंजीनियरों की मेहनत और टेक्नोलॉजी की ताकत को दिखाता है। यह देश के कठिन इलाकों को जोड़ने में बहुत मदद करेगा।

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Daduhe Railway Bridge
Daduhe Railway Bridge, china

चीन का दादुहे रेलवे ब्रिज 

दादुहे रेलवे ब्रिज चीन के सिचुआन प्रांत में बना है। यह पुल दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे पुल माना जाता है। यह पुल दादुहे नाम की नदी के ऊपर बनाया गया है। इसकी ऊंचाई लगभग 380 मीटर (यानी 1,247 फीट) है। यह पुल सिचुआन-तिब्बत रेलवे लाइन का एक जरूरी हिस्सा है। यह इलाका पहाड़ी है और यहां आना-जाना बहुत मुश्किल होता है। लेकिन इस पुल के बनने से अब ट्रेनें बड़ी-बड़ी घाटियों और नदियों को आसानी से पार कर सकती हैं। दादुहे ब्रिज को बहुत मजबूत और खास तकनीक से बनाया गया है। यह इतना मजबूत है कि भूकंप और खराब मौसम को भी सह सकता है। यह पुल लुडिंग नाम की जगह पर बना है, जो बहुत मुश्किल इलाका माना जाता है। सिचुआन-तिब्बत रेलवे चीन के लिए बहुत जरूरी है। इससे लोगों और सामान को एक जगह से दूसरी जगह ले जाना आसान हो गया है। दादुहे जैसा पुल चीन की इंजीनियरिंग यानी निर्माण की ताकत को दिखाता है। ऐसे पुल देश के दूर-दराज और मुश्किल इलाकों को जोड़ने में मदद करते हैं। इससे देश के विकास को भी बढ़ावा मिलता है।

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Najihe Railway Bridge, Guizhou (China)
Najihe Railway Bridge, Guizhou (China)

चीन का नाजीहे रेलवे ब्रिज

नाजीहे रेलवे ब्रिज चीन के गुइझोऊ प्रांत में बना है। यह एक बहुत ऊंचा और मजबूत रेलवे पुल है। इसकी ऊंचाई लगभग 305 मीटर (यानि 1,001 फीट) है। यह विश्व का दूसरा सबसे ऊंचा रेलवे पुल माना जाता है। यह पुल सांछा नदी के ऊपर बनाया गया है। यह जिजिन और गुइयांग शहरों को जोड़ने वाली रेलवे लाइन का हिस्सा है। पुल का मुख्य आर्च 352 मीटर लंबा है, जो इसे एक खास इंजीनियरिंग चमत्कार बनाता है। हालांकि इसकी ऊंचाई 310 मीटर मानी जाती है, लेकिन जब नीचे डोंगफेंग बांध का पानी पूरा भर जाता है, तब पुल की ऊंचाई पानी से सिर्फ 285 मीटर रह जाती है। यह पुल लिंडाई-जिजिन रेलवे लाइन में आता है। इस लाइन से गुइझोऊ के अंदरूनी और पहाड़ी इलाकों को जोड़ा गया है। इससे वहां के व्यापार और उद्योग को बढ़ावा मिलता है और लोगों का आना-जाना भी आसान हो गया है। नाजीहे ब्रिज बहुत कठिन और पहाड़ी इलाके में बना है।

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Jiangjiahe Railway Bridge
Jiangjiahe Railway Bridge

चीन जियांगजिएहे रेलवे ब्रिज 

जियांगजिएहे रेलवे ब्रिज चीन के गुइझोऊ प्रांत में बना है। यह दुनिया का चौथा ऊंचा रेलवे पुल है जो खास तौर पर माल ढोने के लिए बनाया गया है। यह पुल झुनयी और वेंगआन शहरों के बीच की माल गाड़ी लाइन का हिस्सा है। इस पुल का मुख्य आर्च 337 मीटर लंबा है। यह पुल गोउपितान डैम के ऊपर बनाया गया है। जब डैम में पानी पूरा भरा होता है, तब पुल की ऊंचाई पानी से लगभग 160 मीटर रहती है। यह पुल इसलिए बहुत जरूरी है क्योंकि इसके रास्ते फॉस्फेट जैसे मिनिरल्स को एक जगह से दूसरी जगह ले जाया जाता है। फॉस्फेट इस इलाके में बहुत ज्यादा पाया जाता है और यह खेती और उद्योग के लिए बहुत काम आता है। इसलिए यह पुल आर्थिक रूप से भी बहुत अहम है। इस पुल को स्टील और कंक्रीट से बहुत मजबूती से बनाया गया है। इसमें खास तकनीक इस्तेमाल हुई है पहले स्टील की ट्यूबों को कंक्रीट से भरा गया, फिर ऊपर से पूरी स्ट्रक्चर को और कंक्रीट से ढक दिया गया। जियांगजिएहे ब्रिज दिखाता है कि चीन ने इंजीनियरिंग में कितनी तरक्की की है। यह पुल गुइझोऊ के विकास में भी बड़ी भूमिका निभा रहा है।

Beipanjiang Railway Bridge
Beipanjiang Railway Bridge, Qinglong (China)

बेपनजियांग रेलवे ब्रिज 

बेपनजियांग रेलवे ब्रिज चीन के किंगलॉन्ग इलाके में बना है। यह एक बहुत ऊंचा और मजबूत रेलवे पुल है, जिसकी ऊंचाई 283 मीटर है। इस पुल पर हाई-स्पीड ट्रेन चलती है, जो 250 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ती है। इस पुल का आर्च 445 मीटर लंबा है। इसी वजह से यह दुनिया का सबसे लंबा कंक्रीट आर्च ब्रिज माना जाता है। यह पुल गुइयांग और कुनमिंग शहरों को जोड़ने वाली फास्ट रेल लाइन का हिस्सा है। इसे बहुत खास तकनीक से बनाया गया है पहले स्टील की ट्यूबों को कंक्रीट से भरा गया और फिर उन्हें मजबूती से खींचकर जोड़ा गया। पुल को इस तरह डिजाइन किया गया है कि हवा और फास्ट ट्रेन के कारण होने वाले झटकों को भी झेल सके। इससे ट्रेन यात्रा सुरक्षित और आरामदायक बनती है। इस पुल को बनाने में लगभग 430 मिलियन युआन (यानी करीब 66 मिलियन अमेरिकी डॉलर) खर्च हुए। यह चीन के आधुनिक रेलवे सिस्टम का एक अहम हिस्सा है।

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