/young-bharat-news/media/media_files/2025/07/05/delhi-school-2025-07-05-17-10-22.jpg)
नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क।दिल्ली सरकार ने सरकारी स्कूलों की शिक्षा व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए एक और ठोस कदम उठाया है। राजधानी के 56 सरकारी स्कूलों में वरिष्ठ अधिकारियों को "मेंटर्स" के रूप में नियुक्त किया गया है, जिनका उद्देश्य छात्रों के प्रदर्शन को सुधारना और शिक्षण की गुणवत्ता को बढ़ाना है। ये स्कूल खासतौर पर इसलिए चुने गए हैं क्योंकि यहां कक्षा 9वीं और 11वीं में छात्रों का पास प्रतिशत 45% से कम रहा है। शिक्षा निदेशालय के इस फैसले का मुख्य उद्देश्य इन स्कूलों में शिक्षण प्रक्रिया को प्रभावी बनाना है।
हर 15 दिन में करेंगे स्कूल का दौरा
प्रत्येक अधिकारी को एक-एक स्कूल सौंपा गया है, जहां वे 2025-26 शैक्षणिक सत्र तक निगरानी बनाए रखेंगे। मेंटर्स हर 15 दिन में स्कूल का दौरा करेंगे और निरीक्षण की रिपोर्ट MIS पोर्टल पर अपलोड करेंगे। उनकी रिपोर्ट में छात्रों की उपस्थिति, विषयवार प्रदर्शन, शिक्षण की गुणवत्ता और टीचिंग-लर्निंग मटीरियल के उपयोग जैसी जानकारियां होंगी। इसके अलावा, वे यह भी जांचेंगे कि "मिशन मैथमैटिक्स" और "एनरिचमेंट क्लासेस" जैसी सरकारी योजनाओं का सही लाभ छात्रों और शिक्षकों को मिल रहा है या नहीं।
मिशन मैथमैटिक्स
दिल्ली सरकार का यह अभियान खास तौर पर गणित के क्षेत्र में छात्रों की कमजोरियों को दूर करने पर केंद्रित है। "मिशन मैथमैटिक्स" के अंतर्गत छात्रों को उनकी समझ के अनुसार अलग से मार्गदर्शन दिया जाता है ताकि वे बुनियादी गणनाओं को बेहतर तरीके से सीख सकें। अब मेंटर्स इन प्रयासों की प्रभावशीलता का मूल्यांकन भी करेंगे। यह पहल शिक्षकों के लिए एक सहयोगी प्रणाली के रूप में काम करेगी, जिससे उन्हें मार्गदर्शन और तुरंत सहायता मिल सकेगी।
इन मेंटर्स की रिपोर्टों की समीक्षा जिला और जोनल शिक्षा अधिकारी करेंगे। यदि किसी स्कूल में सुधार नहीं होता है या प्रदर्शन लगातार खराब रहता है, तो उस पर जवाबदेही तय की जाएगी और अतिरिक्त सहायता भी उपलब्ध कराई जा सकती है। सरकार की यह पहल शिक्षा क्षेत्र में एक सकारात्मक बदलाव लाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम मानी जा रही है।