जिला मुख्यालय कागज रहित ऑफिस के रूप में हुआ तब्दील- जिलाधिकारी गाजियाबाद दीपक मीणा
जिला मुख्यालय में अब अधिकारियों की टेबल पर फाइलों का ढेर दिखाई नहीं देगा, जिला मुख्यालय पूरी तरह से कागज रहित ऑफिस के रूप में तब्दील हो गया है।
गाजियाबाद वाईबीएन संवाददाता
सभी विभाग मुख्यालय से जोड़े जाएंगे
जिला मुख्यालय के सभी विभागों ने ई-कलेक्ट्रेट के रूप में काम करना शुरू कर दिया है। जल्द ही अन्य विभाग भी इंटरनेट के जरिए जिला मुख्यालय से जोड़ दिए जाएंगे। इसके बाद किसी भी अधिकारी को जिलाधिकारी से हस्ताक्षर करने के फाइल लेकर उनके कार्यालय नहीं आना होगा।
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अधिकारियों के मुताबिक, प्रदेश सरकार काफी लंबे समय से प्रयास कर रही है कि सभी विभागों कागज रहित किए जाय। सभी फाइल इंटरनेट के जरिए अधिकारियों तक पहुंचे।
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इसी कड़ी में गाजियाबाद जिला मुख्यालय ई-कलेक्ट्रेट के रूप में तब्दील हो गया है। कलेक्ट्रेट के सभी विभाग इंटरनेट के जरिए जुड गए हैं।
जिला अधिकारी के पास एडीएम और एसडीएम कार्यालय से ऑनलाइन फाइल आ रही हैं। जिसका जिला अधिकारी दीपक मीणा स्वयं निस्तारण भी ऑनलाइन कर रहे हैं। इसी प्रकार यह कार्य गाजियाबाद के सभी एडीएम और एसडीएम कार्यालय में भी किया जा रहा है।
विकास भवन भी जोड़ा गया
इस कड़ी में विकास भवन को कलेक्ट्रेट से जोड़ दिया गयाहै। मुख्य विकास अधिकारी अभिनव गोपाल के कार्यालय से जिलाधिकारी के हस्ताक्षर के लिए फाइल अब किसी कर्मचारी के बजाय न भेज कर सीधा सिर्फ एक क्लिक पर ऑनलाइन भेजी जा रही हैं। जिनको कंप्यूटर के जरिए ही निस्तारित करके वापस विभाग को भेजा जा रहा है।
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समय की होगी बचत
जिले के सभी विभाग विभिन्न योजनाओं से संबंधित फाइलों पर जिलाधिकारी के हस्ताक्षर या अनुमति लेने के लिए आते हैं। जल्द ही सभी विभागों को कर्मचारियों की यह भाग दौड़ खत्म हो जाएगी। विभाग अपने कार्यालय से ही जिला मुख्यालय को ऑनलाइन फाइल भेजेंगे। इन फाइलों को कलेक्ट्रेट के अधिकारी ऑनलाइन अपनी रिपोर्ट लगाकर भेजेंगे।
जिले के सभी विभाग विभिन्न योजनाओं से संबंधित फाइलों पर जिलाधिकारी के हस्ताक्षर या अनुमति लेने के लिए आते हैं। जल्द ही सभी विभागों को कर्मचारियों की यह भाग दौड़ खत्म हो जाएगी। विभाग अपने कार्यालय से ही जिला मुख्यालय को ऑनलाइन फाइल भेजेंगे। इन फाइलों को कलेक्ट्रेट के अधिकारी ऑनलाइन अपनी रिपोर्ट लगाकर भेजेंगे।
अब होगा 24 घंटे काम
ई-कलेक्ट्रेट योजना के तहत जिले का हर अधिकारी 24 घंटे काम कर सकेगा। आफिस के अलावा घर या कहीं भी अपने मोबाइल या लैपटॉप पर फाइल को कभी भी और कहीं से भी पास कर सकेगा। इस नई व्यवस्था से अधिकारियों के हस्ताक्षर न होने के कारण विभागों में अटकी फाइलों का चलन समाप्त हो जाएगा।
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कर्मचारियों को दी जाएगी ट्रेनिंग
ई-कलेक्ट्रेट योजना के तहत काम करने के में अभी अधिकारी और कर्मचारी कई फीचर से अनभिज्ञ हैं। जिस कारण काम करने में भी परेशानी हो रही है। इसके लिए नोडल एजेंसी से सभी अधिकारी और कर्मचारियों को एक विशेष ट्रेनिंग उपलब्ध कराई जाएगी। जिसमें सॉफ्टवेयर के फीचर के साथ काम करने में आ रही दिक्कतों को दूर करना बताया जाएगा।
जिला अधिकारी ने बताया
जिला मुख्यालय अब पेपरलैस हो गया है। सभी अधिकारी अपनी पटल पर ऑनलाइन ही फाइलों का निस्तारण कर रहे हैं । जल्द ही अन्य विभागों को भी योजना से जुड़ा जाएंगे। इस व्यवस्था से कार्य की गति कई गुना बढ़ गई है।