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भारत में भी फैल रहा HMPV, जानें बचाव के तरीके

भारत ने एचएमपीवी से निपटने के लिए तैयारियां कर ली हैं। वहीं, अभी लोगों के मन में यह बात भी आ रही है कि इससे बचा कैसे जाए, तो आइए जानते हैं HMPV से बचने के कौन-कौन से उपाय हैं, जिसे हमें फॉलो करना चाहिए।

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Ojaswi Tripathi
HMPV

HMPV Photograph: (GOOGLE)

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नई दिल्ली, वाईबीएन नेटवर्क: 

कोरोना वायरस के बाद अब पूरी दुनिया में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) नाम का खतरा मंडराना शुरू हो गया है, जिससे लोग काफी सहमें हुए हैं। कोरोना की तरह ये वायरस भी सबसे पहले चीन में ही फैला है। अभी लोगों के मन से कोरोना का डर खत्म भी नहीं हुआ था कि एक और खतरे की घंटी से पूरी दुनिया पेरशान हो रही है। बता दें, यह वायरस अब भारत में भी इंटर कर चुका है, जिससे अभी तक 6 मामले आ चुके हैं। इसमें से 2 मामले कर्नाटक से आए हैं। वहीं, इसमें से 2 मामले कर्नाटक में मिले हैं, जिनमें एक तीन महीने की बच्‍ची और एक 8 महीने का बच्चा है। संक्रमित लोगों में यह वायरस कैसे आया अभी इसका पता लगाया जा रहा है। राहत की बात यह है कि  भारत ने एचएमपीवी से निपटने के लिए तैयारियां कर ली हैं। वहीं, अभी लोगों के मन में यह बात भी आ रही है कि इससे बचा कैसे जाए, तो आइए जानते हैं HMPV से बचने के कौन-कौन से उपाय हैं, जिसे हमें फॉलो करना चाहिए।

देश में अभी कोरोना का खतरा खत्म भी नहीं हुआ है, उससे पहले ही HMPV नाम के इस खतरे ने लोगों को डरा दिया है। कोरोना की तरह इस वायरस का भी लक्षण सबसे पहले बच्चों, बूढ़ों और कमजोर लोगों में देखने को मिल रहा है। ऐसा इसलिए हो रहा है क्योंकि कोविड जैसे ये भी श्वसन संक्रमण है। इसके लक्षण भी कोरोना जैसे ही हैं। खांसी, बुखार, नाक बंद होना और सांस लेने में तकलीफ होना, ये लक्षण COVID-19 वायरस से संक्रमित लोगों में भी दिखाई देते हैं। यह भी एक संक्रमित इंसान से दूसरों में फैलता नजर आ रहा है। यह वायरस खांसने और छींकने से निकलने पर वहां मौजूद लोगों को अपना शिकार बना रहा है। इतना ही नहीं, किसी वस्तुओं या चीजों को छूने से भी फैलते हैं जिन पर वायरस होते हैं। 

ऐसे करें बचाव

HMPV से बचने के लिए अभी तक कोई वैक्सीन नहीं आया है। इसलिए हमें खुद ही इससे बचने का उपाय निकालना पड़ेगा। वायरस से बचने के लिए दिन में कई कम से कम 15- 20 सेकंड के लिए साबुन और पानी से बार-बार हाथ धोएं। हाथ को बिना धुले अपनी आंख, नाक या मुंह को छूने से जितना हो सके उतना बचें। अगर आपके आसपास कोई बिमार व्यक्ति हो तो उससे दूरी बना कर रहें। यदि किसी मरीजों में सर्दी जैसे लक्षण हैं तो उन्हें खांसते और छींकते समय अपना मुंह और नाक ढंक कर रखना चाहिए, जिससे आप के करीबियों को नुकसान न पहुंचे। दूसरों के प्लेट से खाने  और दूसरों को झूठा पानी पीने से खुद को रोकें। 

2001 में मिला था HMPV 

आपको बता दें, यह  ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) को नया वायरस नहीं है। CDC के अनुसार इसे पहली बार 2001 में खोजा गया था। हालांकि, कुछ सीरोलॉजिकल सबूत बताते हैं इसके प्रमाण 1958 से ही  मौजूद हैं। HMPV, RSV के साथ Pneumoviridae एक गण में आता है। 

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