धूम्रपान की लत लोगों के दिल पर भारी पड़ रही है। शहर के अस्पतालों में हर महीने 40 से 50 मरीज हार्ट की समस्या लेकर पहुंच रहे हैं, जिनमें से अधिकतर के दिल की धमनियों में ब्लॉकेज पाया जा रहा है। विशेषज्ञों का कहना है कि धूम्रपान करने से सिगरेट का धुआं नसों को ब्लॉक कर देता है, जिससे हार्ट में ब्लड सर्कुलेशन बाधित हो जाता है और अटैक का खतरा बढ़ जाता है। 108 एंबुलेंस की एक रिपोर्ट के मुताबिक साल 2024 में सीने में दर्द की शिकायत करने वाले मरीजों की संख्या के मामले में रीवा दूसरे नंबर पर रहा।
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हार्ट अटैक का मुख्य कारण
रीवा के कार्डियोलॉजिस्ट एस.के. त्रिपाठी का कहना है कि ठंड के दिनों में हार्ट अटैक के मामले बढ़ जाते हैं, लेकिन अब यह समस्या पूरे साल देखी जा रही है। इसका मुख्य कारण बदलती लाइफस्टाइल, मानसिक तनाव, सोशल मीडिया पर खुद की तुलना करना, शारीरिक गतिविधियों की कमी और खानपान है। खासकर युवाओं में धूम्रपान की लत तेजी से बढ़ रही है, जिससे वे कम उम्र में ही हार्ट अटैक का शिकार हो रहे हैं।
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हर महीने 5 से 6 मरीजों की मौत हार्ट अटैक से
चिकित्सकों के अनुसार, हर महीने 5 से 6 मरीजों की मौत हार्ट अटैक से हो रही है। कई बार मरीज सीने में दर्द को गैस की समस्या समझकर नजरअंदाज कर देते हैं, लेकिन यह घातक साबित हो सकता है। देर से अस्पताल पहुंचने पर कई मरीजों की जान तक चली जाती है। डॉक्टरों का कहना है कि जो लोग अत्यधिक मात्रा में सिगरेट पीते हैं, उनमें हार्ट अटैक का खतरा सबसे अधिक होता है।
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समय पर इलाज मिलना भी है खतरा का समाधान
विशेषज्ञों का कहना है कि हार्ट को स्वस्थ रखने के लिए लोगों को धूम्रपान से बचना चाहिए और समय-समय पर दिल की जांच करानी चाहिए। अगर किसी को सीने में दर्द, सांस लेने में दिक्कत, अत्यधिक पसीना या थकान जैसी समस्याएं हो रही हैं, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए। समय पर इलाज मिलने से हार्ट अटैक के खतरे को कम किया जा सकता है।
बता दें, 2024 में मध्यप्रदेश में सबसे अधिक हार्ट की समस्याओं को लेकर सागर जिले के लोगों ने शिकायत की। यहां 4,967 लोगों ने चेस्ट पेन के कारण 108 एंबुलेंस को बुलाया। वहीं दूसरे स्थान पर रीवा रहा, जहां 3,000 लोगों ने एंबुलेंस की मदद ली।
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