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मलिहाबाद असलहा तस्करी कांड: जांच में सामने आया अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क, मुख्य साजिशकर्ता गौस फरार

मलिहाबाद में अवैध असलहों की तस्करी के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। जांच में पता चला कि तस्करी का असली मास्टरमाइंड ख्वाजा मोहम्मद गौस है, जो तिहरे हत्याकांड के आरोपी लल्लन खां का भतीजा है। गौस का पाकिस्तान, पोलैंड और चीन से भी कनेक्शन सामने आया है।

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Shishir Patel
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मलिहाबाद में पकड़ी गई थी अवैध शस्त्र बनाने की फैक्ट्री।

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लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। राजधानी के मलिहाबाद क्षेत्र में अवैध हथियारों की तस्करी के मामले में नई-नई बातें निकलकर सामने आ रही है। अब इस पूरे मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। पुलिस की शुरुआती जांच में जिस सलाऊद्दीन को मास्टरमाइंड माना जा रहा था, वह दरअसल मोहरे से ज़्यादा कुछ नहीं निकला। पुलिस की गहन जांच में असली सूत्रधार के रूप में ख्वाजा मोहम्मद गौस का नाम सामने आया है, जो मलिहाबाद तिहरे हत्याकांड के आरोपी लल्लन खां का भतीजा है।

पुलिस के साथ-साथ खुफिया एजेंसियां भी तलाश में जुटीं 

पुलिस विभाग के सूत्रों के अनुसार, गौस के विदेशी नेटवर्क का खुलासा भी हुआ है। उसके संबंध पोलैंड से लेकर पाकिस्तान तक फैले हुए हैं, और उसके पास चीन निर्मित हथियार भी होने की बात सामने आ रही है। पुलिस का कहना है कि गौस की गिरफ्तारी के बाद इस तस्करी गिरोह का अंतरराष्ट्रीय पहलू और भी स्पष्ट हो सकेगा। फिलहाल लखनऊ पुलिस के साथ-साथ अन्य खुफिया एजेंसियां भी उसकी तलाश में लगी हैं।

बारासिंहा के साथ एक तस्वीर वायरल होने पर चर्चा में आया था गौस 

ख्वाजा मोहम्मद गौस की एक तस्वीर दुर्लभ बारासिंहा के साथ वायरल होने के बाद मामला चर्चा में आया था। इसी सिलसिले में 30 सितंबर 2024 को गौस के खिलाफ वन्यजीव संरक्षण अधिनियम के तहत केस दर्ज हुआ था। यही नहीं, इस वायरल फोटो के चलते लल्लन खां पर भी मुकदमा लिखा गया था।हालांकि, पूछताछ में गौस ने दावा किया था कि यह तस्वीर करीब 10 साल पुरानी है, जिसे विरोधियों ने एडिट कर सोशल मीडिया पर वायरल किया है। एसीपी विनीत सिंह ने बताया कि बारासिंहा मामले में विवेचना जारी है और सभी पहलुओं पर जांच की जा रही है।

छापेमारी की भनक लगते ही भाग निकला गौस 

खुफिया सूत्रों के अनुसार, गौस के पास बड़ी मात्रा में अवैध और विदेशी असलहे हैं। जब पुलिस ने सलाऊद्दीन के ठिकानों पर दबिश दी, तभी गौस को इसकी भनक लग गई और वह हथियारों के जखीरे के साथ फरार हो गया। माना जा रहा है कि उसकी गिरफ्तारी से भारी मात्रा में हथियार बरामद हो सकते हैं।पुलिस अधिकारियों के अनुसार, तस्करी गिरोह में गौस के साथ अन्य कई सहयोगियों की संलिप्तता भी उजागर हो रही है। उनकी भूमिका की भी जांच की जा रही है और शीघ्र ही इस नेटवर्क के अन्य कड़ियों तक पहुंचने की कोशिश की जा रही है।

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थाने के पास ही चल रहा था अवैध शस्त्र तस्करी का धंधा 

यह सारा खेल कहीं और नहीं बल्कि थाने से चंद कदम पर दूरी पर चल रहा था। यहां अवैध असलहा बनकर देश व विदेश में जाता रहा और पुलिस को इसकी भनक तक नहीं लगी। अब जब पुलिस ने छापा मारकर कार्रवाई की तो हर दिन चौकाने वाले तथ्य सामने आ रहे है। इस पूरे मामले में हकीम सलाऊद्दीन ने अभी तक कुछ खास पुलिस को बताया नहीं है। बीमारी का बहाना बनाकर लगातार पुलिस को गुमराह करने का काम कर रहे है। ऐसे में पुलिस ने उन्हे जेल भेज दिया है। 

हकीम सलाऊद्दीन को कस्टडी रिमांड पर लेने की तैयारी 

मलिहाबाद में अवैध शत्र बनने के बाद कहां-कहां सप्लाई होते थे, पुलिस के लिए यह जानना बहुत आवश्यक हो गया है। पुलिस ने आराेपी हकीम सलाऊद्दीन का मोबाइल व लैपटॉप कब्जे में लिया है। जिसमें से कुछ संदिग्ध जानकारी पुलिस के हाथ लगी है। फोन काल खंगालने के दौरान पता चला है कि आरोपी पीओके और कश्मीर के कुछ लोगों के संपर्क में था। इन्हीं सब बातों को जानने के लिए पुलिस हकीम हकीम सलाऊद्दीन को कस्टडी रिमांड लेने की तैयारी कर रही है।

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