Advertisment

UP: आयुष्मान भारत योजना में करोड़ों का घोटाला, एफआईआर दर्ज

जांच में पता चला कि सिर्फ 22 दिनों में नौ करोड़ 94 लाख रुपये ऑनलाइन ट्रांसफर किए गए। यह मामला सरकार की स्वास्थ्य योजना की साख पर सवाल खड़ा करता है। अधिकारियों ने जांच शुरू कर दी है।

author-image
Anupam Singh
मतहीर
Listen to this article
0.75x1x1.5x
00:00/ 00:00

लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। आयुष्मान भारत योजना में बड़ा घोटाला सामने आया है। करीब 10 करोड़ रुपये का फर्जीवाड़ा 39 अस्पतालों में हुआ। इसमें 6239 लाभार्थियों के नाम पर झूठे भुगतान किए गए। जालसाजों ने मरीजों के नाम पर पैसा हड़प लिया। यह सब 1 मई से 22 मई 2025 के बीच हुआ। जांच में पता चला कि सिर्फ 22 दिनों में नौ करोड़ 94 लाख रुपये ऑनलाइन ट्रांसफर किए गए। यह मामला सरकार की स्वास्थ्य योजना की साख पर सवाल खड़ा करता है। अधिकारियों ने जांच शुरू कर दी है।

यह तब पता चला जब ‘साचीज’ नामक एजेंसी के नोडल अधिकारी, डॉ. बृजेश कुमार श्रीवास्तव ने हजरतगंज थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई। रिपोर्ट में कहा गया है कि एजेंसी के ओएसडी, मैनेजर और लेखाधिकारी की ईमेल आईडी का गलत इस्तेमाल कर धोखाधड़ी की गई है। इस घपले में कई लोगों की मिलीभगत हो सकती है। पुलिस मामले की जांच कर रही है और दोषियों को पकड़ने का प्रयास किया जा रहा है। यह घटना सरकारी योजनाओं में पारदर्शिता और सुरक्षा पर सवाल खड़े करती है।

अशोक मार्ग पर स्थित नवचेतना केंद्र में एक एजेंसी का कार्यालय है। यह केंद्र आयुष्मान भारत योजना के तहत काम करता है, जिसमें सरकार अस्पतालों को इलाज का खर्च देती है। अस्पताल अपने खर्च का विवरण ऑनलाइन पोर्टल पर डालते हैं। फिर अधिकारियों उसकी जांच करते हैं और मंजूरी देते हैं। इसके बाद लेखाधिकारी और सीईओ हस्ताक्षर करते हैं। अंत में, बैंक अस्पतालों को भुगतान कर देता है। यह प्रक्रिया तेज और आसान है, जिससे मरीजों को जल्दी मदद मिलती है।

एजेंसी के सीईओ, वित्त प्रबंधक और लेखाधिकारी की लॉग इन आईडी से छेड़छाड़

एक जांच में पता चला है कि एक एजेंसी के सीईओ, वित्त प्रबंधक और लेखाधिकारी की लॉग इन आईडी से छेड़छाड़ कर फर्जी भुगतान किया गया। इस धोखाधड़ी की जानकारी मिलने पर हजरतगंज थाने में अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इंस्पेक्टर विक्रम सिंह ने बताया कि जांच से यह स्पष्ट हुआ है कि अस्पतालों को मिला पैसा एजेंसी की ओर से नहीं भेजा गया था। जालसाजों ने सिस्टम का गलत इस्तेमाल कर रकम हड़प ली। अभी कई लोगों से पूछताछ होनी बाकी है, और अपराधियों को जल्द ही पकड़ लिया जाएगा।

वर्ष 2018 से शुरू हुई यह योजना

Advertisment

आयुष्मान भारत योजना 2018 में शुरू हुई थी ताकि गरीब और जरूरतमंद लोगों को मुफ्त इलाज मिल सके। इसका मकसद था कि हर कोई बिना परेशानी के स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ ले सके। लेकिन अब खबरें आ रही हैं कि इस योजना में घोटाले हो रहे हैं। इन घोटालों से योजना की साख पर सवाल उठ रहे हैं। सरकार ने इस मामले को गंभीरता से लिया है और जांच तेज कर दी है। अधिकारियों का कहना है कि दोषियों को जल्द ही पकड़ा जाएगा और सजा दी जाएगी। यह कदम योजना की सच्चाई और भरोसे को बनाए रखने के लिए जरूरी है। जनता उम्मीद कर रही है कि सही कार्रवाई होगी और योजना का उद्देश्य फिर से पूरा होगा।

यह भी पढ़ें :Crime News: फर्जी हस्ताक्षर कर सिपाहियों का तबादला करने वाला बाबू चार्जशीटेड, कार्रवाई की तैयारी

यह भी पढ़ें :मिस गोरखपुर 'मॉडल चाय वाली' और महिला सिपाही में हाथापाई, दुकान बंद कराने पहुंची थी पुलिस

Advertisment

यह भी पढ़ें :Crime News:युवा अधिवक्ता की अचानक मौत, तहसील परिसर में चलते-चलते गिरे और हो गया निधन

lucknow latest news local news lucknow Lucknow lucknowcity
Advertisment
Advertisment