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सीवर लाइन निर्माण के बाद बदहाल पड़ी सड़क Photograph: (वाईबीएन नेटवर्क )
शाहजहांपुर, वाईबीएन संवाददाता
महानगर में 248 करोड़ की लागत से बन रही सीवर लाइन का निर्माण कार्य अभी भी अधर में है। कई क्षेत्रों में अभी भी गड्ढे छूटे हुए हैं। सूखी मिट्टी धूलकण बनकर सड़क किनारे बसे लोगों की परेशानी का केंद्र बन रही है । सड़क पर आने जाने वाले वाहनों से उड़ती धूल से राहगीरों को भी परेशानी हो रही है। इससे स्वास्थ्य पर भी बुरा असर पड़ रहा है।
मोहल्ला गदियाना पंचपीर चौराहे से पूरी शहबाजनगर रोड पर 24 घंटे धूल रहती है। ऐसी बदहाल सड़क पर चलने वाले वाहन भी खराब हो रहे हैं। नगरवासियों का कहना है कि प्रशासन को कई सड़कों की जर्जर हालत अवगत कराया जा चुका है परंतु उसके कानों पर जूं नहीं रेंगती और प्रशासन हर 2 महीने पर एक वर्ष का समय देकर भूल जाता है ।
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खुदी सड़क असुविधा का कारण
इस संबंध में चौक निवासी धीरज त्रिवेदी ने कहा कि खुदी पड़ी सड़क की मिट्टी घर में जमा हो जाती है इससे मच्छरों ओर अन्य कीड़ों का प्रजनन बढ़ सकता है जिससे बीमारियों का खतरा होता है खुदी सड़क, लीक पाइपलाइन, जर्जर बिजली के खंभे जनता के लिए असुविधा का कारण बने है।
धीरज त्रिवेदी ,चौक
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सड़क पर पानी का छिड़काव होना चाहिए
मोहित गुप्ता का कहना है सड़क पर हर समय धूल की धुंध छाई रहती है स्वास्थ्य पर असर तो पड़ ही रहा है ,आर्थिक नुकसान भी हो रहा है खुदाई से जन्मी जाम की समस्या व्यवसाय पर गहरा असर डाल रही है।नियमानुसार कार्य के निर्माण दौरान समय समय पर पानी का छिड़काव होना चाहिए ,ताकि मिट्टी बैठ भी जाए और धूल उड़ने की समस्या भी न हो।
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विशेषज्ञ राय-फेफड़ों के लिए धूल है बेहद खतरनाक
डॉ. एम एल अग्रवाल ने कहा कि धूल की समस्या बेहद खतरनाक रूप ले रही है इससे न्यूमोकोनिओसिस नामक फेफड़ों की बीमारी होती है, जिसमें सांस फूलती है और थकावट महसूस होती है । सांस के रोगियों के लिए तो यह बेहद खतरनाक है। जरूरी होने पर ही बाहर निकलें और यदि निकलें भी तो मास्क लगाकर निकलें।
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किस्से अपना दर्द बयान करें
शिक्षक दियांशु अग्निहोत्री ने कहा कि कहा कि अधूरी पड़ी सीवर लाइन के कारण कई एक्सीडेंट हो रहे हैं, जहां गलियों में रास्ते ऊबड़ खाबड़ हैं वहाँ तो लोग वाहन चलाते हुए स्वयं ही गिर जा रहे हैं। लोग चोटिल भी हो रहे हैं लेकिन किस्से अपना दर्द बयान करें यह बेहद मुश्किल है।
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