शाहजहांपुर वाईबीएन नेटवर्क
सूर्य देवता खूब तप रहे हैं। 25 मई आने के साथ ही गर्म ग्रह और नक्षत्र की प्रभाव बढ़ने लगा है और प्रचंड गर्मी पडने लगी है। तापमान 44 डिग्री सेल्सियस तक पहुंचने के आसार हैं। आठ जून तक ऐसा ही रहने के आसार बन रहे हैं। मौसम विभाग का भी कुछ इसी तरह का अनुमान है।
महायोग आचार्य डा. राधेश्याम शर्मा वासंतेय कहते हैं कि ग्रह और नक्षत्र के मुताबिक इस बार नौतपा 25 मई से शुरू हो गया और 8 जून तक अपना प्रभाव दिखाएगा। नौतपा में सूर्य प्रचंड तेवर में होते हैं। सूर्य देवता इस अवधि में आग उगलते हैं। 8 जून तक नौतपा का प्रभाव रहेगा। यानी 15 दिनों की इस अवधि में धरती का तापमान सबसे अधिक होगा।
नौतपा का इसलिए रहता है प्रभाव
बाबा विश्वनाथ मंदिर के पुजारी आचार्य प्रदीप मिश्रा का कहना है कि नौतपा का यह समय अत्यधिक गर्मी के लिए जाना जाता है। इस दौरान सूर्य पृथ्वी के सबसे निकट होते हैं, जिससे तापमान में तेजी से वृद्धि होती है और भीषण गर्मी का अनुभव होता है। 25 मई से जब सूर्य रोहिणी नक्षत्र में प्रवेश करेगा। यह अवधि नौ दिनों तक चलेगी और इसका समापन 8 जून को होगा, फिर सूर्य मृगशिरा नक्षत्र में प्रवेश करेगा। नौतपा के शुरुआती 9 दिन सबसे गरम होते हैं, लेकिन ये 15 दिन की अवधि होती है, जिसमें सबसे अधिक भीषण गर्मी पड़ती है। यह नौ दिन प्रकृति के लिए भी एक महत्वपूर्ण अवधि मानी जाती है, क्योंकि इस दौरान धरती सूर्य की तेज ऊष्मा को अवशोषित करती है, जो आगे चलकर मानसून के लिए अनुकूल वातावरण तैयार करती है। आइए इस बारे में और विस्तार से जानते हैं।
नौतपा में करें ये उपाय
नौतपा के दौरान गर्मी से बचने और भगवान का आशीर्वाद पाने के लिए कई उपाय किए जा सकते हैं। सूर्य को अर्घ्य देना, ठंडी चीजें दान करना, भगवान कृष्ण की पूजा करना, शिवलिंग पर जल चढ़ाना, और लोगों को मीठा खिलाना जैसे काम किए जा सकते हैं। इसके अलावा, मेंहदी लगाना और सूती वस्त्र दान करना भी लाभकारी होता है। ये सभी उपाय गर्मी से राहत दिलाने के साथ-साथ पुण्य भी दिलाते हैं।
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